जहां एक तरफ देशभर में सरकार बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान चला रही है। जिसके ऊपर करोड़ों रुपए भी खर्च किए जा रहे हैं। लेकिन समाज पर इसका असर कितना हो रहा है आप इस बात से ही अंदाजा लगा सकते हैं। जिन बेटियों के कन्या और देवी का दर्जा देकर नवरात्री में पूजा की जाती है उन्हीं बेटियों को कई घरों में दुतकार मिलती है। मामला गाजियाबाद के थाना खोड़ा कॉलोनी कॉलोनी इलाके का है। जिसे सुनकर आप भी सुन कर हैरान रह जायेंगे। जहां पूजा नाम की महिला को शादी के करीब 5 साल बाद बेटी हुई। लेकिन उसके ससुराल वालों की ख्वाहिश थी की पहला बच्चा लड़का हो। लेकिन लड़की होने के बाद से उसे मानसिक रूप से प्रताड़ित किया जाने लगा।
पीड़ित पूजा ने बताया कि इस बात को लेकर घर में आए दिन झगड़ा होता है। और घर के अन्य सदस्य एवं उसका पति उसके साथ अक्सर मारपीट भी करते हैं। उनका कहना है कि उसके ससुराल वालों ने उसे उसके मायके से कैश लाने का दबाव बनाया ताकि बेटी का आगे खर्चा चल सके। साथ ही उसने बताया कि इससे पहले भी उसके मायके वाले कई बार उनकी डिमांड पूरी कर चुके हैं। लेकिन इनकी लालसा लगातार बढ़ती चली जा रही है। इसके साथ ही पूजा ने आरोप लगाया है कि दहेज में एक लाख रूपये नहीं लाने पर पति ने उसके साथ मारपीट की। जिसके बाद वह गंभीर रूप से घायल हो गई।
उस दौरान पूजा और उसके परिवार वालों ने थाना खोड़ा पुलिस से शिकायत भी की थी लेकिन पुलिस ने महज एनसीआर काटकर मामला रफा-दफा कर दिया और उन्हें घर भेज दिया। लेकिन पूजा का कहना है कि उसके साथ लगातार उसके ससुराल वाले उत्पीड़न कर रहे हैं। जिसकी शिकायत लेकर पूजा गाजियाबाद एसएसपी वैभव कृष्ण से मिली और आपबीती बताई। वहीं एसएसपी ने मामले को गंभीरता से लेते हुए पूरे मामले की जांच कराने के आदेश दिए हैं। एसएसपी वैभव कृष्ण का कहना है कि पूरे मामले की जांच कराई जाएगी। यदि यह आरोप सही पाए जाते हैं तो तत्काल प्रभाव से कार्रवाई की जाएगी।