आज इन कार्यों को करने से होगा फायदा ही फायदा, आप भी न चूकें
Published: Aug 01, 2017 09:39:00 am
नवमी रिक्ता संज्ञक तिथि पूर्वाह्न 11.54 तक, इसके बाद दशमी पूर्णा संज्ञक तिथि है
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नवमी रिक्ता संज्ञक तिथि पूर्वाह्न 11.54 तक, इसके बाद दशमी पूर्णा संज्ञक तिथि है। नवमी तिथि में विग्रह, कलह, जुआ, मद्य, आखेट, जहर, अग्नि व शस्त्र सम्बंधी कार्य सिद्ध होते हैं। शुभ कार्य वर्जित है। दशमी पूर्णा संज्ञक तिथि में विवाहादि सभी मांगलिक कार्य, अलंकार, गृहारम्भ, यात्रा, प्रवेश तथा अन्य राजकीय कार्यादि शुभ होते हैं।
नक्षत्र: विशाखा ‘मिश्र व अधोमुख’ संज्ञक नक्षत्र दोपहर 12.21 तक, तदन्तर अनुराधा ‘मृदु व तिङ्र्यंमुख’ संज्ञक नक्षत्र है। विशाखा नक्षत्र में पदार्थ संग्रह, अलंकार, कारीगरी, चित्रकारी, प्रहार, औषध सेवन आदि विषयक कार्य और अनुराधा नक्षत्र में विवाह, जनेऊ, यात्रा, सवारी, अलंकार, घर तथा अन्य स्थिर कार्य शुभ होते हैं।
योग: शुक्ल नामक योग अपराह्न 3.14 तक, इसके बाद ब्रह्म नामक योग है। दोनों ही नैसर्गिक शुभ योग हैं। विशिष्ट योग: दोष समूह नाशक रवियोग नामक शक्तिशाली शुभ योग पूर्वाह्न 11.54 से दोपहर 12.21 तक है। रवियोग- तिथि, वार, नक्षत्रजन्य कुयोगों की अशुभताओं को नष्ट कर शुभकार्यारम्भ के लिए मार्ग प्रशस्त करता है। करण: कौलव नामकरण पूर्वाह्न 11.54 तक, इसके बाद तैतिलादि करण हैं।
शुभ विक्रम संवत् : 2074
संवत्सर का नाम : साधारण
शाके संवत् : 1939
हिजरी संवत् : 1438, मु.मास: जिल्काद-8
अयन : दक्षिणायन
ऋतु : वर्षा
मास : श्रावण। पक्ष – शुक्ल।
शुभ मुहूर्त: उपर्युक्त शुभाशुभ समय, तिथि, वार, नक्षत्र व योगानुसार आज अनुराधा नक्षत्र में विवाह, प्रसूतिस्नान व सगाई, रोका आदि के शुभ मुहूर्त हैं।
श्रेष्ठ चौघडि़ए: आज प्रात: 9.14 से दोपहर बाद 2.13 तक क्रमश: चर, लाभ व अमृत तथा अपराह्न 3.52 से सायं 5.32 तक शुभ के श्रेष्ठ चौघडि़ए हैंं एवं दोपहर 12.06 से दोपहर 12.59 तक अभिजित नामक श्रेष्ठ मुहूर्त है, जो आवश्यक शुभकार्यारम्भ के लिए अत्युत्तम हैं।
व्रतोत्सव: आज श्री हरि जयंती, मंगला गौरी पूजा, तिलक पुण्य दिवस। चन्द्रमा: चन्द्रमा सम्पूर्ण दिवारात्रि वृश्चिक राशि में है। ग्रह राशि-नक्षत्र परिवर्तन: दोपहर 12.20 पर शुक्र आद्र्रा नक्षत्र में प्रवेश करेगा। दिशाशूल: मंगलवार को उत्तर दिशा की यात्रा में दिशाशूल रहता है। पर आज वृश्चिक राशि के चन्द्रमा का वास उत्तर दिशा की यात्रा में सम्मुख होगा। यात्रा में सम्मुख चन्द्रमा धनलाभ कराने वाला माना गया है। राहुकाल: अपराह्न 3.00 से सायं 4.30 बजे तक राहुकाल वेला में शुभकार्यारम्भ यथासम्भव वर्जित रखना हितकर है।
आज जन्म लेने वाले बच्चे
आज जन्म लेने वाले बच्चों के नाम (तो, न, नी, नू, ने) आदि अक्षरों पर रखे जा सकते हैं। इनकी राशि वृश्चिक तथा जन्म का पाया ताम्र है। सामान्यत: ये जातक धनवान, विद्यावान, कला-निपुण, सुंदर, वाक्-पटु, सामान्य बुद्धि वाले, यात्राएं अधिक करने वाले, साहसी, पराक्रमी, राज-सरकार से किसी न किसी स्रोत से धन प्राप्त करने वाले, कुछ अस्थिर मनोवृत्ति वाले होते हैं। इनका भाग्योदय लगभग 38 वर्ष की आयु तक होता है। वृश्चिक वाले जातकों को आज किसी भी प्रकार के छल-प्रपंच से सावधान रहना चाहिए। किसी के आश्वासन पर रहेंगे तो नुकसान हो सकता है।