11 अगस्त, 2015 को जब महिपाल के गांव भुगांरका में धर्म परिवर्तन को लेकर काउंसलिंग शिविर में ग्रामीणों ने हंगामा किया था। इसके बावजूद महिपाल ने अपने गुरु इंद्रराज सिंह के समक्ष धर्म परिवर्तन कर सुजाता नाम की एक महिला को गुरु मां मान लिया था। इस बात को लेकर ससुराल वाले कई आशंकाओं से घिर गए थे। इसका माकूल जवाब महिपाल से नहीं मिलने पर कलह रहने लगा था। इससे तंग आकर ससुराल वालों ने महिपाल से नाता तोड़ लिया था।
इस हत्याकांड की जांच को लेकर गठित एसआइटी के अधिकारियों ने महिपाल की ससुराल रोजका में उसकी पत्नी मीनू व ससुराल के लोगों से बंद कमरे में पूछताछ की। इसके बाद रिश्ते टूटने का यह राज सामने आया है। पुलिस के अनुसार गुरुग्राम पुलिस लाइन में जहां पर महिपाल का आवास था। वहां वह कम ही जाता था। पत्नी को अतिरिक्त आय की बात कहकर वह टैक्सी चलाने के लिए घर से अक्सर गायब रहता था।
इस मामले में गुरुग्राम व दिल्ली में रहने वाले उसके पांच दोस्तों से पूछताछ में पता चला है कि काउंसलिंग शिविर के लिए हिमाचल, उत्तराखंड व उत्तर प्रदेश की ओर से आने वाले धर्म गुरुओं को वह टैक्सी में बैठाकर बैठकों में ले जाता था। जांच टीम के निशाने पर सुजाता व फेसबुक पर महिपाल का म्युचुअल मित्र सागर पाठक भी है। सागर पाठक फेसबुक पर उसका ऐसा मित्र है, जिसने घटना से एक दिन पहले महिपाल द्वारा फेसबुक पर किए गए पोस्ट को सबसे पहले लाइक किया था। सागर, ईसाई समुदाय के एक ऐसे ग्रुप से जुड़ा है जिसके 11,91,781 सदस्य हैं। सागर ने फेसबुक पर अपना पता गंगोह सहारनपुर उत्तर प्रदेश लिखा है। महिपाल ने घटना के बाद से कुछ नहीं खाया है। वो सवालों के जबाव भी सिर को हिलाकर ही दे रहा है। न तो वह किसी अधिकारी से आंख मिला रहा है और न ही किसी से बात कर रहा है।