डायलिसिस यूनिट के प्रभारी फिजीशियन डा. कपिल तेतरवाल ने बताया कि निजी अस्पतालों में एक बार डायलिसिस के लिए करीब चार हजार रुपए लगते हैं। लेकिन अस्पताल में केवल 12 सौ रुपए ही लगेंगे। एक मरीज को सप्ताह में तीन बर डायलिसिस की जरूरत पड़ती है। ऐसे में काफी आर्थिक बचत होगी।
यूनिट का संचालन पीपीपी मोड पर किया जा रहा है। इसके लिए सोनी हॉस्पिटल जयपुर से अनुबंध हुआ है। गुरुवार को सोनी अस्पताल के कार्यकारी अधिकारी मोहित सोनी ने यूनिट का अवलोकन किया और शुरू करने को लेकर कार्य योजना बनाई। सोनी हॉस्पिटल की तरफ से यूनिट में एक टेक्निीशियन व दो नर्सिंगकर्मी लगाए गए हैं। वार्ड में 9.80 लाख रुपए कीमत की दो दो डायलिसिस मशीने तथा मोटराइज बेड लगाए गए हैं।
इनके लिए निशुल्क डा. तेतरवाल ने बताया कि बीपीएल, भामाशाह स्वास्थ्य बीमा योजना, वरिष्ठ नागरिकों, आस्था कार्डधारी व कैदी आदि का निशुल्क डायलिसिस किया जाएगा। केन्द्र में दो मशीने लगी हैं। एक दिन में अधिकतम दो या चार मरीजों की डायलिसिस की जा सकेगी।
जल्द शुरू होगी इको कॉड्रियोलॉजी की सुविधा
डा. कपिल ने बताया कि आने वाले कुछ ही महीनों में भरतिया अस्पताल में हृदय रोगियों के उपचार में बड़ी राहत मिलेगी। अस्पताल में ईको कॉर्डियोलॉजी की सुविधा शुरू होने वाली है। मशीन इंस्टॉल करवा दी गई है। ेएक डाक्टर को इसकी ट्रेनिंग दिलवाई जानी बाकी है। ट्रेनिंग के बाद यह सुविधा शुरू हो जाएगी। इसके बाद हृदय के रोगियों को भी बाहर नहीं जाना पड़ेगा।
डा. कपिल ने बताया कि आने वाले कुछ ही महीनों में भरतिया अस्पताल में हृदय रोगियों के उपचार में बड़ी राहत मिलेगी। अस्पताल में ईको कॉर्डियोलॉजी की सुविधा शुरू होने वाली है। मशीन इंस्टॉल करवा दी गई है। ेएक डाक्टर को इसकी ट्रेनिंग दिलवाई जानी बाकी है। ट्रेनिंग के बाद यह सुविधा शुरू हो जाएगी। इसके बाद हृदय के रोगियों को भी बाहर नहीं जाना पड़ेगा।
”हीमोडायलिसिस का ट्रॉयल शुरू कर दिया गया है। मरीज जल्द से जल्द रजिस्ट्रेशन करवाकर इसका लाभ ले सकते हैं। विधिवत उद्घाटन बाद में किया जाएगा। ”
डा. जेएन खत्री, अधीक्षक, डीबीएच, चूरू
डा. जेएन खत्री, अधीक्षक, डीबीएच, चूरू