जांच अधिकारी को किया लाइन हाजिर, एएसआई व कांस्टेबल हटाए
बूंदीPublished: Aug 31, 2018 09:52:39 pm
सदर थाने में पुलिस हिरासत में आदिवासी युवक की मौत मामले में पुलिस अधीक्षक ओमप्रकाश ने जांच अधिकारी को लाइन हाजिर कर दिया।
जांच अधिकारी को किया लाइन हाजिर, एएसआई व कांस्टेबल हटाए
-पुलिस हिरासत में आदिवासी युवक की मौत का मामला
-न्यायिक जांच के बाद आगे बढ़ेगी कार्रवाई
बूंदी. सदर थाने में पुलिस हिरासत में आदिवासी युवक की मौत मामले में पुलिस अधीक्षक ओमप्रकाश ने जांच अधिकारी को लाइन हाजिर कर दिया। हैड कांस्टेबल बजरंग लोधा बाइक चोरी के मामले की जांच कर रहा था। प्रथम दृष्टया उसे लाइन हाजिर कर दिया गया। ताकि जांच प्रक्रिया प्रभावित नहीं हो। यहां उक्त प्रकरण की न्यायिक जांच शुरू हो गई। अब न्यायिक जांच के बाद कार्रवाई आगे बढ़ेगी। थाने से एक एएसआई और एक कांस्टेबल को भी हटाया गया है। हालांकि पुलिस अधीक्षक ने इसे सामान्य प्रक्रिया के तहत होने वाला स्थानान्तरण बताया है। उल्लेखनीय है कि बूंदी के सदर थाने में मंडावरी भीलों का टापरा निवासी तीस वर्षीय पप्पू भील चोरी के मामले में पकड़ा था। उसकी २७ अगस्त की रात संदिग्ध हालात में मौत हो गई। सदर थाना पुलिस ने इस घटना को लेकर दावा किया था कि पप्पू ने पूछताछ के दौरान खुद को खिड़की का कांच घोंप लिया और कोटा ले जाने के दौरान उसकी मौत हो गई।
परिवार को दिलाओ आर्थिक मदद
डॉ. भीमराव अम्बेडकर कल्याण समिति, राजस्थान भील समाज विकास समिति ने राज्यपाल व मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा। वह रैली के रूप में जिला कलक्ट्रेट पहुंचे। समिति के अध्यक्ष बाबूलाल वर्मा, भील समाज के अध्यक्ष धन्नालाल भील की अगुवाई में ग्रामीण और पप्पू के परिजन भी जिला कलक्ट्रेट पहुंचे। उन्होंने पप्पू के परिजनों को २० लाख रुपए आर्थिक मदद और पत्नी को सरकारी नौकरी दिलाने की मांग रखी। बाद में आदिवासी छात्रावास में बैठक की गई।
हड़ताल समाप्त होने के बाद नहीं निभाया वादा
-वाल्मीकि समाज ने भेजा ज्ञापन
इंद्रगढ़. नगर पालिका कार्यालय के बाहर धरने पर बैठे वाल्मीकि समाज के लोगों ने शुक्रवार को राज्य के स्वास्थ्य मंत्री को ज्ञापन प्रेषित कर हाल ही सफ ाई कर्मचारियों के पद पर अन्य जाति वर्ग के लोगों की नियुक्ति को निरस्त करने की मांग की। ज्ञापन में वाल्मीकि धरना समिति अध्यक्ष ज्ञानचंद व महामंत्री सत्यनारायण वाल्मीकि ने कहा कि वाल्मीकि समाज के लोग रियासत के जमाने से सफाई कार्य करते आ रहे हैं तो अब आज अन्य जाति वर्ग के लोगों को इनके हक के पदों पर नियुक्ति क्यों दी गई। पिछले दिनों वाल्मीकि समाज एवं नगर पालिका के सफ ाई कर्मचारियों की हड़ताल समाप्त कराने को लेकर अधिशासी अधिकारी चंद्रकला वर्मा ने समाज के लोगों को ठेका पर सफाई कार्य पर लगाने का लिखित में वादा किया था, लेकिन उसे हड़ताल समाप्त होने के बाद पूरा नहीं किया, जिसके कारण वाल्मीकि समाज के युवाओं एवं महिलाओं को रोजगार नहीं मिल पा रहा है।