सिक्किम के राज्यपाल गंगा प्रसाद ने कहा कि अज्ञानता की वजह से लोग वास्तविकता से दूर हो रहे हैं। धर्मगुरु लोगों को सस्ता लालच देकर छल कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि आर्य समाज के माध्यम से अंधविश्वास दूर होगा और वास्तविकता का प्रचार होगा। उन्होंने कहा कि आज तो एक चैनल पर ऐसे प्रचार-प्रसार हो रहे हैं, जो कि असंभव हैं। उन्होंने कहा कि राम और कृष्ण को मरे हजारों वर्ष हो गए हैं, लेकिन लोगों का कहना है कि वे अभी भी आ रहे हैं। हनुमान जी को लोग अभी भी खिला रहे हैं, आखिर क्या है यह सब।
राज्यपाल ने भगवान राम और कृष्ण पर टिप्पणी करते हुए कहा कि चित्र की पूजा नहीं, बल्कि चरित्र की पूजा होनी चाहिए। आर्य समाज भी यही कर रहा है। उन्होंने कहा कि भगवान के चरित्र को अपनाना चाहिए। योगीराज कृष्ण ने योग का प्रचार किया, लेकिन प्रचारित किया जा रहा है कि उनकी कितनी पटरानी थीं। राज्यपाल ने हिंदी भाषा के प्रचार-प्रसार पर जोर दिया।
राज्यपाल ने पत्रकारों के राम मंदिर पर प्रश्न पूछने पर कहा कि यह आस्था का प्रश्न है और राम मंदिर अवश्य बनना चाहिए। आस्था एक बहुत बड़ी चीज है। उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि मोहम्मद साहब की दाढ़ी का बाल कश्मीर की एक मस्जिद में रखा है, लेकिन किसी प्रयोगशाला में यह साबित नहीं हो सकता कि यह बाल मोहम्मद साहब का ही है या अयोध्या में ही राम ने यहां जन्म लिया था। हालांकि इसके बाद राज्यपाल के मीडिया पर अंधविश्वास फैलाने का आरोप लगाने के सवाल पर जवाब देने से बचते नजर आए।