हिंदू परिवारों में आज भी पौराणिक पात्रों के अनुसार नाम रखें जाते हैं, जैसे राम, कृष्ण, अर्जुन आदि के नाम पर बच्चों का नाम रखा जाता है। लेकिन कई नाम ऐसे भी हैं जिनके नाम का अर्थ बहुत अच्छा और सकारत्मक है लेकिन इसके बावजूद पुराणों के कई चरित्र के नाम पर अपने बच्चों का नाम रखना माता-पिता पसंद नहीं करते, क्योंकि इन नामों के साथ कहीं-कहीं अपशकुन जुड़े हुए हैं। जानिए कौन से हैं वे नाम जो अपने बच्चों का कभा न रखें।
कैकेयी
कैकेयी एक राज परिवार से संबंध रखती थी, लेकिन उसने नौकरानी की सलाह पर अपने ही परिवार के सदस्यों में भेद-भाव किया और दुखों की कारण बनी। इसलिए आज भी कैकेयी नाम नहीं रखा जाता।
दुर्योधन
दुर्योधन एक बलवान और महान योद्धा था, लेकिन अपने लालच के चलते उसने अपने ही परिवार का नाश कर दिया। इसलिए अपने पुत्र का नाम दुर्योधन रखना भी अच्छा नहीं माना जाता।
अश्वत्थामा
अश्वत्थामा एक साहसी और बहादुर योद्धा था, लेकिन फिर भी बच्चों का नाम नहीं रखता क्योंकि उसने कुछ बुरे काम किए, जिनकी वजह से श्रीकृष्ण ने उसे सदियों तक पीड़ा झेलने का श्राप दिया था।
गांधारी
गांधारी महान शक्तियों और गुणों वाली महिला थी, लेकिन कुरु वंश में विवाह के बाद उसे दुखों का सामना करना पड़ा। इसलिए कोई भी अपनी बेटी का नाम गांधारी नहीं रखता। उसके सभी पुत्रों की मृत्यु भी हो गई थी।
विभीषण
विभीषण जिसे कभी क्रोध ना आता हो। सुंदर अर्थ होने के बावजूद लोग यह नाम रखने से बचते हैं क्योंकि उन्होंने अपने भाई रावण की मृत्यु का रहस्य श्रीराम को बताया था। इसलिए उन्हें घर का भेदी कहा जाता है।
द्रौपदी
द्रौपदी राजकुमारी थी, इसके बाद भी लोग अपनी बेटी का नाम द्रौपदी नहीं रखते। द्रौपदी को पांच पांडवों के साथ विवाह करना पड़ा था। इस बात के चलते यह नाम नहीं रखा जाता।
शकुनि
शकुनि अर्थ चतुर सलाहकार होता है, लेकिन उसका नाम रखना अच्छा नहीं होता क्योंकि उसने घृणा और प्रतिशोध के चलते पूरे कुरुवंश में दरारें पैदा कर दी और उसके कारण कुरुवंश का नाश हो गया।
मंदोदरी
रामायण के अनुसार, मंदोदरी दयालु और अच्छे गुणों वाली स्त्री थी, लेकिन रावण की पत्नी होने के कारण लोग अपनी बेटी का नाम मंदोदरी रखने से कतराते हैं।
सुग्रीव
सुग्रीव भगवान श्रीराम का परम भक्त था, लेकिन वही अपने भाई की मृत्यु का कारण बना। इसी कारण लोग अपने बेटे का नाम सुग्रीव नहीं रखते।