दरअसल मध्यप्रदेश में चुनावी नतीजों को लेकर एक मीडिया हाउस के इंटरव्यू में अनुमानों के सवाल पर दिग्विजय का कहना था कि इस बार संयोजन समिति का मुखिया होने के नाते और अपनी छह महीने लंबी नर्मदा परिक्रमा के जरिए मैं करीब 230 में से 194 विधानसभा सीटों पर घूमा हूं।
मैं कह सकता हूं कि हम सरकार बना रहे हैं। मेरे इस अनुमान का आधार हमारी और भाजपा के उम्मीदवारों की अंतिम सूची भी है। वहीं 2008 और 2013 चुनाव अभियान से मैं उस तौर पर नहीं जुड़ा था। मुझे पता नहीं था, क्या चल रहा है।
वहीं दिग्विजय का यह भी कहना था कि एंटी इन्कंबेंसी और शिवराज सिंह चौहान की खुद की छवि भाजपा के खिलाफ खड़े हैं। उन्होंने शिवराज सरकार पर कई आरोप भी लगाए।
ये दी सलाह…
वहीं सीएम शिवराज सिंह चौहान को उनकी विधानसभा क्षेत्र बुदनी ना जाने की मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने सलाह दी है। उन्होंने कहा कि शिवराज बुधनी में बिल्कुल भी ना जाएं। वरना उन्हें पत्नी साधना की तरह ही जनता के गुस्से का सामना करना पड़ेगा।
दिग्विजय का यह भी कहना है कि उन्होंने बुधनी में 11 दिन रात बिताएं है और उनकी माने तो यहां की स्थिति ऐसी है जैसे मार्शल लॉ लगा हो।
बुधनी में सीएम की पत्नी साधना सिंह के विरोध वाले वायरल हो रहे वीडियो पर दिग्विजय ने कहा है कि बुधनी का अभी यही हाल है। उन्होंने सलाह देते हुए ये भी तंज कसा कि सीएम जरा हेलीकाप्टर से नीचे उतर कर लोगों के बीच जाए तो उन्हें सच्चाई पता चल जाएगी।
ज्ञात हो कि शिवराज की तरफ से प्रचार करने बुधनी पहुंची उनकी पत्नी साधना सिंह और उनके दोनों पुत्र कार्तिकेय और कुणाल क्षेत्र में घर-घर जाकर मतदाताओं का आशीर्वाद ले रहे हैं। इसी बीच वायरल हो रहे एक वीडियो के अनुसार साधना सिंह से एक महिला ने पानी ना होने की शिकायत कर दी और खूब खरी खोटी सुनाई।
इसके अलावा भोपाल स्थित प्रदेश कांग्रेस कार्यालय पहुंचे पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने संघ पर प्रतिबंध के मुद्दे पर मीडिया से बात करते हुए कहा कि ‘वचन पत्र’ में दिए इस मुद्दे को जबरदस्ती दिया तूल दिया जा रहा है। हम केंद्र के नियम को प्रदेश में लागू कराना चाहते हैं। और केवल इस मुद्दे को तूल देकर बाकी मुद्दों पर बातचीत तक नहीं की जा रही है।
इधर, इंटरव्यू में ये भी बोले दिग्विजय…
इंटरव्यू के दौरान जब दिग्विजय से सीएम चेहरे के न होने को लेकर सवाल पूछा गया गया तो उन्होंने कहा, “कांग्रेस ने अपने मुख्यमंत्री उम्मीदवार का ऐलान नहीं किया है। भाजपा ने भी उत्तर प्रदेश, हरियाणा और महाराष्ट्र में सीएम चेहरा जाहिर नहीं किया था।
कांग्रेस के जीतने की सूरत में क्या वो खुद मुख्यमंत्री की कुर्सी पर काबिज होना चाहेंगे, इस सवाल के जवाब में दिग्विजय ने कहा कि वो अपनी पारी खेल चुके हैं। अब दूसरों को मौका मिलना चाहिए।