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अफसरों के साथ किसान बनाएंगे माइक्रो सिंचाई मैप

locationभोपालPublished: Jun 17, 2019 07:21:46 am

Submitted by:

Ashok gautam

अफसरों के साथ किसान बनाएंगे माइक्रो सिंचाई मैप
– दो से दस हेक्टेयर तक के खेतों पर होगा फोकस
– दूसरी जगह सिंचाई परियोजनाओं में बेहतर हुए कामों को देखने भी जाएंगे किसान

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भोपाल। अब किसान अपने खेतों की सिंचाई के लिए अफसरों के साथ मिलकर माइक्रो सिंचाई का रुट मैप तैयार करेंगे। दो से लेकर दस हेक्टेयर तक के क्षेत्रफल में सिंचाई के लिए रूट मैप किसान खुद तैयार करेंगे।
सिंचाई में पानी की बर्बादी रोकने और कम पानी में बेहतर सिंचाई के लिए कृषि, पंचायत और जल संसाधन विभाग के मैदानी अधिकारियों से अनुभव साझा करेंगे।

सिंचाई रूट मैप तैयार होने के बाद इसे ग्राम पंचायत की बैठक में रखा जाएगा और सभा की सहमति के बाद ही इस पर अमल किया जाएगा।
इसके अलावा जल संसाधन विभाग किसानों समूह को उन क्षेत्रों का भ्रमण कराएंगे, जहां छोटी-छोटी सिंचाई परियोजनाओं पर बेहतर काम किए गए हैं।
जल संसाधन और कृषि विभाग सिंचाई की छोटी-छोटी परियोजनाओं पर जोर दे रहा है। इसमें सबसे बड़ी भूमिका किसानों की तय की गई है। किसान ही इसके लिए रोड मैप तैयार करेंगे और किसान ही इस में पानी छोडऩे, फसल को पानी देने के संबंध में निर्णय लेंगे।
माइक्रो सिंचाई परियाजनाओं के संबंध में तकनीकी जानकारी देने के लिए कृषि, जल संसाधन और पंचायत विभाग जगह-जगह कैंप लाकर किसानों को प्रशिक्षण देगा और इसके प्रति जागरूक करेंगे।

इसके साथ ही इन परियोजनाओं को संचालित करने और उसके संरक्षण करने पर किसानों को प्रोत्साहित करेगा। परियोजना की पूरी लागत राशि जल संसाधन विभाग देगा। परियोजना तैयार होने के बाद उसके देख-रेख का काम किसानों की समितियां करेंगे। कृषि विभाग के अधिकारी इन क्षेत्र के किसानों को कम पानी और कम समय में तैयार होने वाले उन्नत खेती के संबंध में प्रशिक्षण देंगे।
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उपकरणों पर अनुदान देगा कृषि विभाग

खेतों तक पानी पहुंचाने के लिए पाइप सहित अन्य उपकरण खरीदने के लिए किसानों को अनुदान कृषि विभाग देगा। कम पानी में ज्यादा से ज्यादा सिंचाई और खेतों में पानी भी बेकार न बहे इसके लिए स्प्रिंगलर से सिंचाई के लिए प्रशिक्षण और सुझाव देगा।
इन किसानों को उन्नत बीज बोने और तैयार करने के लिए भी अनुदान दिया जाएगा। कृषि विभाग किसानों उन्नत खाद, बीज उपलब्ध कराने का काम करेगा।

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