पटरी से उतरा विकास
शहर में सफाई व्यवस्था से विकास का जिम्मा रखने वाली नगरपालिका की सेहत ही खराब है। नगरपालिका राजनीति का अखाड़ा बनने से यातायात जाम, बाजारों में अतिक्रमण, जगह-जगह कूड़े के ढेर, आसपास की नई कॉलोनियों में विकास की रफ्तार थमी हुई है। शहर में नाली-सडक़ें टूटी है। मास्टर प्लान का उल्लंघन हो रहा है। कई रोड लाइटें बंद पड़ी है। चार साल में 14 ईओ बदलने का खामियाजा आमजन भुगत रहा है।
शहर में सफाई व्यवस्था से विकास का जिम्मा रखने वाली नगरपालिका की सेहत ही खराब है। नगरपालिका राजनीति का अखाड़ा बनने से यातायात जाम, बाजारों में अतिक्रमण, जगह-जगह कूड़े के ढेर, आसपास की नई कॉलोनियों में विकास की रफ्तार थमी हुई है। शहर में नाली-सडक़ें टूटी है। मास्टर प्लान का उल्लंघन हो रहा है। कई रोड लाइटें बंद पड़ी है। चार साल में 14 ईओ बदलने का खामियाजा आमजन भुगत रहा है।
6 माह से अधिक कोई ईओ नहीं रहा
चौमूं नगरपालिका बोर्ड का गठन अगस्त, 2015 में हुआ। 35 वार्डों वाली इस पालिका में भाजपा का बोर्ड बना। बोर्ड गठन के दौरान सत्यनारायण सांखला ईओ थे। इसके बाद सिर्फ एक को छोडक़र कोई भी अधिकारी छह महीने से ज्यादा नहीं रहा।
चौमूं नगरपालिका बोर्ड का गठन अगस्त, 2015 में हुआ। 35 वार्डों वाली इस पालिका में भाजपा का बोर्ड बना। बोर्ड गठन के दौरान सत्यनारायण सांखला ईओ थे। इसके बाद सिर्फ एक को छोडक़र कोई भी अधिकारी छह महीने से ज्यादा नहीं रहा।
भ्रष्टाचार में भी फंसे कई अधिकारी
यहां रहते कई अधिकारियों पर भ्रष्टाचार एवं गड़बड़ी के भी आरोप लगे हैं। एक अधिकारी के खिलाफ एसीबी एवं लोकायुक्त में जांच लंबित है। अब तक ये ईओ
यहां रहते कई अधिकारियों पर भ्रष्टाचार एवं गड़बड़ी के भी आरोप लगे हैं। एक अधिकारी के खिलाफ एसीबी एवं लोकायुक्त में जांच लंबित है। अब तक ये ईओ
सत्यनारायण सांखला, दिनेश कांवत (जेईएन), श्यामा राठौड़, दिनेश कांवट (जेईएन), शमीम, अभिषेक गहलोत, हेमाराम चौधरी, सलीम खान, सूर्यकांत शर्मा(एआरआई), अजयकुमार अरोड़ा, पवनकुमार मौर्य (जेईएन, सरिता बड़सरा, सूर्यकांत शर्मा (एआरआई)। वर्तमान में श्रवण कुमार शर्मा (एलडीसी) के पास चार्ज है।
इनका कहना है
– अधिशासी अधिकारियों के तबादले होने के पीछे प्रशासनिक कारण हैं। यह काम सरकार का है। यदि स्थायी अधिकारी रहते हैं तो विकास को गति मिलती है। वर्तमान में भी अधिशासी अधिकारी नहीं होने से दीपावली से पूर्व होने वाली तैयारियों को मजबूती नहीं मिल पा रही है।
अध्यक्ष, नगरपालिका चौमूं
– अधिशासी अधिकारियों के तबादले होने के पीछे प्रशासनिक कारण हैं। यह काम सरकार का है। यदि स्थायी अधिकारी रहते हैं तो विकास को गति मिलती है। वर्तमान में भी अधिशासी अधिकारी नहीं होने से दीपावली से पूर्व होने वाली तैयारियों को मजबूती नहीं मिल पा रही है।
अध्यक्ष, नगरपालिका चौमूं