दिलप्रीत के पिता की पहले ही मौत हो चुकी है जबकि मां अपने मायके में रहती है और बहन की शादी हो चुकी है। दिलप्रीत बाबा रोपड़ के निकट एक कालेज में मकैनिकल का छात्र था। कुछ वर्ष पहले गांव में खेतों को पानी लगाने को लेकर दिलप्रीत की कुछ नौजवानों के साथ लड़ाई हो गई। उस समय यह मामला पंचायत ने दबा दिया लेकिन कुछ दिन बाद जब दिलप्रीत अपनी बहन के साथ कालेज जा रहा था तो गांव के युवाओं ने उस पर हमला कर दिया। जिसका बदला लेते हुए दिलप्रीत ने भी उनके साथ मारपीट की।
इसके बाद अक्सर गांव तथा आसपास के इलाकों में होने वाले झगड़ों में दिलप्रीत का नाम आने लगा। 18 मई 2016 को एक मामले में पुलिस जब दिलप्रीत को पकडक़र ले जा रही थी तो कुछ युवाओं ने पुलिस पार्टी पर हमला करके दिलप्रीत को छुड़वा लिया। उसके बाद अपहरण, फिरौती, लूटपाट व हत्या के कई मामलों में दिलप्रीत बाबा का नाम आया।
दिलप्रीत भले ही अपराध की दुनिया में पूरी तरह से लिप्त हो चुका है लेकिन करीब दो माह पहले मीडिया के समाने आई उसकी मां तथा गांव के कुछ लोगों ने इस बात से साफ इनकार किया था कि दिलप्रीत गैंगस्टर बन सकता है। अब तक हुई वारदातों में खास बात यह भी रही कि दिलप्रीत फेसबुक पर अक्सर सक्रिय रहता था। वह हर घटना को अंजाम देने के बाद न केवल फेसबुक पर अपडेट करता था बल्कि घटना के संबंध में फैली खबरों के बारे में भी अपनी प्रतिक्रिया देता रहता था।