शहर में जलापूर्ति के सबसे बड़े स्रोत मानसी वाकल से पहले 27.5 एमएलडी पानी लिया जा रहा था, जिसे लॉकडाउन से पहले बढ़ाकर 28.5 एमएलडी किया गया। अब इसे एक एमएलडी और बढ़ाकर 29.5 कर दिया गया है। इससे शहर से चित्तौडग़ढ़ मार्ग के धाऊजी की बावड़ी, प्रतापनगर, ट्रांसपोर्टनगर आदि क्षेत्र लाभान्वित होने लगे हैं।
राज्य सरकार के स्तर सभी जिलों में पेयजल व्यवस्था के समुचित प्रबंधन के लिए सभी आवश्यक व्यवस्थाओं के बारे में दिशा निर्देश जारी किए गए हैं। वर्तमान में प्रदेश के 27 शहरों में 1962 टैंकर ट्रिप्स प्रतिदिन से पेयजल परिवहन किया जा रहा है। इसी प्रकार पेयजल की कमी वाले 757 ग्राम-ढाणियों में 640 टैंकर ट्रिप प्रतिदिन से पेयजल परिवहन किया जा रहा है। प्रदेश में जल परिवहन की व्यवस्था के लिए अप्रेल से जुलाई 2020 की अवधि के लिए ग्रामीण क्षेत्र में 41 करोड़ और शहरी क्षेत्र में 24 करोड़ रुपए की राशि सहित कुल 65 करोड़ रुपए की स्वीकृति एक माह पूर्व जारी की गई थी। सभी जिलों में जल परिवहन की व्यवस्था सम्बंधित कलक्टर की सहमति के आधार पर की जाएगी।
हैण्डपम्पों मरम्मत का अभियान
राज्य सरकार के स्तर सभी जिलों में पेयजल व्यवस्था के समुचित प्रबंधन के लिए सभी आवश्यक व्यवस्थाओं के बारे में दिशा निर्देश जारी किए गए हैं। वर्तमान में प्रदेश के 27 शहरों में 1962 टैंकर ट्रिप्स प्रतिदिन से पेयजल परिवहन किया जा रहा है। इसी प्रकार पेयजल की कमी वाले 757 ग्राम-ढाणियों में 640 टैंकर ट्रिप प्रतिदिन से पेयजल परिवहन किया जा रहा है। प्रदेश में जल परिवहन की व्यवस्था के लिए अप्रेल से जुलाई 2020 की अवधि के लिए ग्रामीण क्षेत्र में 41 करोड़ और शहरी क्षेत्र में 24 करोड़ रुपए की राशि सहित कुल 65 करोड़ रुपए की स्वीकृति एक माह पूर्व जारी की गई थी। सभी जिलों में जल परिवहन की व्यवस्था सम्बंधित कलक्टर की सहमति के आधार पर की जाएगी।
हैण्डपम्पों मरम्मत का अभियान
राज्य में 44वां हैण्डपम्प मरम्मत अभियान एक अप्रेल से शुरू किया गया, इसमें अब तक 16 हजार 610 हैण्डपम्पों की मरम्मत की जा चुकी है। राज्य में इसके अतिरिक्त वर्ष 2019-20 में ग्रामीण क्षेत्रों में 2 लाख 11 हजार 302 और शहरी क्षेत्रों में 32 हजार 147 हैंडपम्पों का मरम्मत कार्य पूरा हो चुका है।
शहर में जलापूर्ति की स्थिति
शहर में जलापूर्ति की स्थिति
मानसीवाकल – 29.5
पिछोला – 27 फतेहसागर – 15
जयसमंद – 20 अन्य स्त्रोत – 10
कुल जलापूर्ति – 101.5 (एमएलडी-लाख लीटर प्रतिदिन) इनका कहना शहर में परेशानी वाला क्षेत्र प्रतापनगर है, जहां तक पानी पहुंचाने में मुश्किलें रहती है। शहर में आपूर्ति के तहत दो एमएलडी पानी बढ़ाया गया है। इससे काफी कुछ राहत हो गई है। जिलेभर में भी ग्राउण्ड वाटर लेवल ठीक है, जिससे ज्यादा समस्या नहीं है।
नक्षत्रसिंह चारण, एसइ, पीएचइडी
जिले में अधिक परेशानी जैसी स्थिति नहीं है। मावली और भीण्डर में कुछ परेशानी रहती है, जिसकी व्यवस्था हमने कर रखी है। फिलहाल मावली के 3 गांवों में टैंकर से जलापूर्ति शुरू की है। आगे भी जरुरत के अनुसार आपूर्ति बढ़ाकर राहत पहुंचाई जाएगी।
पिछोला – 27 फतेहसागर – 15
जयसमंद – 20 अन्य स्त्रोत – 10
कुल जलापूर्ति – 101.5 (एमएलडी-लाख लीटर प्रतिदिन) इनका कहना शहर में परेशानी वाला क्षेत्र प्रतापनगर है, जहां तक पानी पहुंचाने में मुश्किलें रहती है। शहर में आपूर्ति के तहत दो एमएलडी पानी बढ़ाया गया है। इससे काफी कुछ राहत हो गई है। जिलेभर में भी ग्राउण्ड वाटर लेवल ठीक है, जिससे ज्यादा समस्या नहीं है।
नक्षत्रसिंह चारण, एसइ, पीएचइडी
जिले में अधिक परेशानी जैसी स्थिति नहीं है। मावली और भीण्डर में कुछ परेशानी रहती है, जिसकी व्यवस्था हमने कर रखी है। फिलहाल मावली के 3 गांवों में टैंकर से जलापूर्ति शुरू की है। आगे भी जरुरत के अनुसार आपूर्ति बढ़ाकर राहत पहुंचाई जाएगी।
बीएल पालीवाल, एक्सइएन, ग्रामीण खण्ड