कम गेज में अधिक होता खर्च
बीसलपुर बांध परियोजना अभियंताओं के अनुसार बांध का गेज जब पूर्ण जलभराव होता है तो बांध से पानी का खर्च कम गति से होता है। वहीं जब बांध में पानी की मात्रा कम होती है तो बांध से जलापूर्ति व वाष्पीकरण में अधिक पानी खर्च होता है। ऐसा माना जाता है कि बांध बनने के बाद बांध के नीचे की ओर मिट्टी, कचरा आदि का जमाव भी माना जा रहा है। बांध में पानी की आवक के दौरान जब कम पानी का भराव होता है ओर पानी की आवक होती है तब बांध में जल्दी पानी का भराव होता है वही जब ज्यों-ज्यों बांध का जलभराव बढ़ता जाता है तो ऊपर की ओर बांध का गेज धीरे-धीरे बढऩे लगता है। जिसमें पानी की मात्रा की भी अधिक आवश्यकता होती जाती है। बांध से जलापूर्ति एक नजर मेंबीसलपुर बांध पेयजल परियोजना जयपुर व्रत के अधिक्षण अभियंता सुधांशु दिक्षित ने बताया कि बांध से रोजाना जयपुर शहर के लिए ४८० एमएलडी पानी की आपूर्ति की जा रही है जो पानी रोजाना जयपुर शहर को दिया जा रहा है। वही दूदू-चाकसू पेयजल परियोजना के लिए बांध से रोजाना ९० एमएलडी पानी लिया जा रहा है। इसी प्रकार अजमेर पेयजल परियोजना के लिए बांध से रोजाना ३०५ एमएलडी पानी लिया जा रहा है। परियोजना के सहायक अभियंता राम निवास जांगीड़ ने बताया कि परियोजना के तहत लिया जा रहा पानी अजमेर व जिले के अन्य सैकड़ों गांव व कस्बों में प्रति ४८ घंटों में एक बार जलापूर्ति की जा रही है। बांध से रोजाना ४३ एमएलडी पानी रोजाना टोंक, उनियारा व देवली शहरों के साथ गांव व कस्बों में दिया जा रहा है।
बीसलपुर बांध परियोजना अभियंताओं के अनुसार बांध का गेज जब पूर्ण जलभराव होता है तो बांध से पानी का खर्च कम गति से होता है। वहीं जब बांध में पानी की मात्रा कम होती है तो बांध से जलापूर्ति व वाष्पीकरण में अधिक पानी खर्च होता है। ऐसा माना जाता है कि बांध बनने के बाद बांध के नीचे की ओर मिट्टी, कचरा आदि का जमाव भी माना जा रहा है। बांध में पानी की आवक के दौरान जब कम पानी का भराव होता है ओर पानी की आवक होती है तब बांध में जल्दी पानी का भराव होता है वही जब ज्यों-ज्यों बांध का जलभराव बढ़ता जाता है तो ऊपर की ओर बांध का गेज धीरे-धीरे बढऩे लगता है। जिसमें पानी की मात्रा की भी अधिक आवश्यकता होती जाती है। बांध से जलापूर्ति एक नजर मेंबीसलपुर बांध पेयजल परियोजना जयपुर व्रत के अधिक्षण अभियंता सुधांशु दिक्षित ने बताया कि बांध से रोजाना जयपुर शहर के लिए ४८० एमएलडी पानी की आपूर्ति की जा रही है जो पानी रोजाना जयपुर शहर को दिया जा रहा है। वही दूदू-चाकसू पेयजल परियोजना के लिए बांध से रोजाना ९० एमएलडी पानी लिया जा रहा है। इसी प्रकार अजमेर पेयजल परियोजना के लिए बांध से रोजाना ३०५ एमएलडी पानी लिया जा रहा है। परियोजना के सहायक अभियंता राम निवास जांगीड़ ने बताया कि परियोजना के तहत लिया जा रहा पानी अजमेर व जिले के अन्य सैकड़ों गांव व कस्बों में प्रति ४८ घंटों में एक बार जलापूर्ति की जा रही है। बांध से रोजाना ४३ एमएलडी पानी रोजाना टोंक, उनियारा व देवली शहरों के साथ गांव व कस्बों में दिया जा रहा है।