शांतिमय सभा पर गोलियां चलवाईं मुख्यमंत्री गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी के इतिहास विभाग की ओर से जलियांवाला बाग को समर्पित जलियांवाला बाग का दुख, इतिहास और साहित्य विषय पर करवाए गए वेबिनार में शामिल हुए थे। वेबिनार का शुभारंभ मुख्यमंत्री ने अपनी भाषण के साथ किया। उन्होंने कहा कि जलियांवाला बाग कांड के बाद पूरा देश एकजुट हो गया था और हर हाल में अंग्रेजों को देश से बाहर निकालने की कोशिश में जुट गया था, क्योंकि अंग्रेज सरकार ने शांतिमय सभा कर रहे भोले-भाले लोगों पर अंधाधुंध गोलियां चलाई थी, जिसमें हजारों लोग मारे गए थे। उन्होंने कहा कि बहुत ही प्रशंसनीय है कि देश की आजादी के 74वें साल पर इस तरह का वेबिनार आयोजित किया गया है।
शहीद ऊधम सिंह की शहीदी को सलाम गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी के कुलपति डॉ. जसपाल सिंह संधू ने कहा कि जलियांवाला बाग की घटना भारत के लोगों की मानसिकता में अहम स्थान रखती है। इसको केवल छोटे से दंगों को दबाने वाली घटना कहना बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है। जलियांवाला बाग के प्रति ऐसी सोच को बदलने की जरूरत है। साथ ही उन्होंने शहीद ऊधम सिंह की शहीदी का हवाला देते हुए उनके जज्बे को सलाम किया कि किस तरह से उन्होंने बाग की मिट्टी की कसम खाकर बदला लेने की ठानी थी। वेबिनार के दौरान जीएनडीयू की ओर से प्रकाशित किताब रीइमेजिंग जलियांवाला बाग को रिलीज किया गया।