World Heritage Day ; धरोहरों का शहर, संरक्षण मिले तो पर्यटकों का बढ़ेगा आकर्षण

 
– रीवा को हेरिटेज सिटी बनाए जाने का प्रस्ताव ठंडे बस्ते में

<p>World Heritage Day, Rewa heritage city</p>

रीवा। हर साल 18 अप्रेल को विश्व धरोहर दिवस(वल्र्ड हेरिटेज डे) मनाया जाता है। इस दिन तो तमान संभावनाओं पर चर्चा की जाती है लेकिन इसके बाद आगे की प्रक्रिया रुक जाती है। रीवा राजशाही का शहर रहा है, इसलिए यहां पर एतिहासिक, पुरातात्विक और धार्मिक महत्व की वर्षों पुरानी इमारतें हैं। जो धीरे-धीरे उपेक्षा का शिकार होती जा रही हंै।
इन भवनों के साथ ही हमारी अन्य धरोहरों को संरक्षण मिले तो रीवा पर्यटकों के प्रमुख आकर्षण का केन्द्र बन सकता है। कुछ समय पहले रीवा को हेरिटेज सिटी बनाए जाने की मांग उठाई गई थी। जहां पर हेरिटेज कारीडोर के साथ ही इन भवनों एवं स्थलों का संरक्षण का प्रस्ताव था। लेकिन अब तक कोई कार्रवाई इस पर आगे नहीं बढ़ी है। शहर के भीतर राजघराने का किला, वेंकट भवन, फलकनुमा भवन, पीली कोठी, घंटाघर, अमरा कोठी, बैजू धर्मशाला, महामृत्युंजय मंदिर, रानीतालाब, चिरहुला सहित कई मंदिर एवं स्थल हैं। रीवा शहर विंध्य प्रदेश की राजधानी रहा है, इसलिए यहां पर उस दौर के राज्यपाल, मुख्यमंत्री के बंगले, कार्यालय, सचिवालय, मंत्रियों के बंगले सब धरोहर के रूप में हैं।

– गोविंदगढ़ और क्योंटी किले का हो रहा संरक्षण


जिले में गोविंदगढ़ और क्योंटी के किलों के संरक्षण की रूपरेखा बनाई गई है। जिसमें गोविंदगढ़ किले को हेरिटेज होटल के रूप में विकसित करने के लिए कार्य भी चल रहा है। यह किला पूरी तरह से जर्जर हो चुका है। अब पीपीपी मोड पर इस किले को फाइव स्टार होटल के रूप मेंं विकसित करने का कार्य किया जा रहा है। इसी तरह क्योंटी किले को लेकर भी प्रस्ताव है, जहां पर अभी एजेंसी तय नहीं हुई है। माना जा रहा है कि इन दोनों किलों को विकसित करने से बनारस, प्रयागराज, खजुराहो, बांधवगढ़ आदि के बीच बाहर के पर्यटकों को रुकने की बेहतर व्यवस्था उपलब्ध हो सकेगी।

वल्र्ड हैरिटेज-डे पर आज वेबीनार

वल्र्ड हेरिटेज डे के अवसर पर सांस्कृतिक, ऐतिहासिक और प्राकृतिक धरोहरों को सुरक्षित रखने एवं उनके संवर्धन-संरक्षण के प्रति जागरूकता के लिए धरोहर-भविष्य के परिपेक्ष्य में विषय पर वेबिनार का आयोजन का आयोजन किया जाएगा। 18 अप्रेल को प्रात: 11:30 से अपरान्ह एक बजे के मध्य आयोजित होगा। जहां पर पर्यटन विभाग से जुड़े अधिकारी भोपाल से जुड़ेंगे। साथ ही दिल्ली से कई विशेषज्ञ भी शामिल होंगे। बताया गया है कि ट्यूनीशिया में इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ मान्यूमेंट्स एण्ड साइट द्वारा आयोजित एक संगोष्ठी में 18 अप्रैल 1982 को विश्व धरोहर दिवस मनाने का सुझाव दिया गया, जिसे कार्यकारी समिति द्वारा मान लिया गया। पूरे विश्व में लगभग 1,121 विश्व धरोहर स्थल हैं, जिसमें से सबसे अधिक चीन एवं इटली में हैं। भारत में लगभग 131 विश्व धरोहर स्थल हैं। मध्यप्रदेश में 3 विश्व धरोहर सांची, भीम बैठका एवं खजुराहो हैं।
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