April 2021: पांच-5 प्रमुख ग्रहों का होगा गोचर, जानें देवगुरु किन राशियों को देंगे विशेष लाभ

इस माह बुध दो बार व सूर्य के अलावा गुरु, शुक्र व मंगल एक बार करेंगे परिवर्तन…

<p>Rashi Parivartan of big Astro planets in April 2021</p>

ग्रहों की लगातार बदल रही चाल का दौर बना हुआ है। ऐसे में साल 2021 का चौथा महीना अप्रैल सभी 12 राशि के जातकों के लिए बहुत खास रहने वाला है, इस माह में 5 प्रमुख ग्रह परिवर्तन करने वाले हैं, जिसका असर सभी 12 राशियों पर देखने को मिलेगा।

दरअसल अप्रैल 2021 में सूर्य, मंगल,बुध (दो परिवर्तन), शुक्र के अलावा देवगुरु बृहस्पति ग्रह परिवर्तन करने वाले हैं। इस माह जहां सूर्य देव भी 13 अप्रैल 2021, मंगलवार को दोपहर 02.32 बजे मेष राशि में स्थान परिवर्तन करेंगे, वहीं मंगल मिथुन राशि में 13-14 अप्रैल 2021 की दरमियानी रात 1:16 बजे प्रवेश करेंगे।

जबकि इससे पहले 06 अप्रैल 2021, मंगलवार को 18.01 बजे बृहस्पति यानि देवगुरु भी राशि परिवर्तन करते हुए मकर से कुंभ में चले जाएंगे। जबकि इस माह सबसे पहले यानि 1 अप्रैल,गुरुवार को बुध 0:33 AM पर कुंभ से मीन राशि में जाएंगे,वहीं इसके बाद बुध अपना दूसरा परिवर्तन करते हुए 16 अप्रैल, 2021 शुक्रवार को 20:49 बजे वे मीन से मेष में चले जाएंगे।

इसके अलावा शुक्र 10 अप्रैल, शनिवार की सुबह 06:14 बजे मंगल के स्वामित्व वाली मेष राशि में प्रवेश करेगा और 04 मई 2021 13:09 अपराह्न तक इसी राशि में गोचर करता रहेगा।

इन सभी परिवर्तनों में सबसे खास मंगल व गुरु के परिवर्तन माने जा रहे हैं।

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6 ग्रहों का बदलाव या 5 का ऐसे समझें…
वैसे तो कई जानकार इसमें प्लूटों को भी जोड़कर इसे 6 ग्रहों का परिवर्तन मान रहे हैं, लेकिन पंडित सुनील शर्मा का कहना है कि ज्योतिष ग्रहों में प्लूटो की भूमिका नहीं मानी जाती, अत: इसे 5 ग्रहों का ही परिवर्तन कहा जाएगा। क्योंकि कुंडली के नौ ग्रहों में प्लूटो को नहीं माना जाता।
हां यदि इसे 6 ग्रहों का परिवर्तन मानना ही है तो इस आधार पर माना जा सकता है कि इस माह बुध ग्रह जरूर दो बार परिवर्तन कर रहा है, ऐसे में इसे दो परिवर्तन मानते हुए 5 ग्रहों का 6 गोचर माना जा सकता है।

ऐसे समझें गुरु का परिवर्तन और असर…
दरअसल 06 अप्रैल 2021, मंगलवार के दिन शाम 6:01 पर देवगुरु बृहस्पति गोचर करते हुए मकर राशि से कुंभ राशि में प्रवेश कर जाएंगे। जो इस अवस्था में 15 सितंबर बुधवार तक रहेंगे और फिर अपनी वक्री गति शुरू करते हुए प्रातः काल 4:22 पर एक बार फिर से मकर राशि में प्रवेश कर जाएगा। जिसके बाद वो पुनः मार्गी होते हुए उपरांत 20 नवंबर, शनिवार के दिन पूर्वान्ह 11:23 पर मकर से कुंभ राशि में विराजमान होंगे।

वहीं वर्तमान में देवगुरु बृहस्पति शनि की राशि मकर में विराजमान है, यहां साल 2021 की शुरुआत में देवगुरु बृहस्पति ने प्रवेश किया था।

वहीं गुरु कुंभ राशि की अपनी इस यात्रा के बीच 20 जून की रात्रि 8 बजकर 28 मिनट पर वक्री होंगे और उसी अवस्था में चलते हुए पुनः 15 सितंबर को पुन: मकर राशि में प्रवेश कर जाएंगे। धनु और मीन राशि के स्वामी गुरु पुनर्वसु, विशाखा एवं पूर्वाभाद्रपद नक्षत्रों के भी स्वामी हैं। कर्क राशि इनकी उच्च और मकर राशि नीच संज्ञक कही गयी है।

 

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Guru Grah Rashi Parivartan Effects from 6 april 2021 IMAGE CREDIT: Guru Grah Rashi Parivartan Effects from 6 april 2021

12 राशियों पर इसका असर व उपाय :- Effects on all zodiac signs

1. मेष राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु गोचर 2021 मेष राशि से एकादश भाव का स्वामी होकर गोचर करेगा। इस दौरान आपको धन लाभ होगा क्योंकि आर्थिक रूप से ये गोचर आपके लिए अधिक अनुकूल है। आप अपनी कई महत्वाकांक्षाओं की पूर्ति करने में सफल रहेंगे। आपका भाग्य साथ देगा जिससे कई विदेशी स्रोतों से आपको धन लाभ हो सकता है।

इसके बाद गुरु वक्री गति चलते हुए कुम्भ से वापस मकर में लौट आएंगे जिससे 15 सितंबर से 20 नवंबर तक ये आपके दशम भाव को प्रभावित करेंगे। ऐसे में आपको अपने कार्यक्षेत्र में कई समस्याएं आ सकती हैं क्योंकि वहां पहले से मौजूद शनि देव आपको भ्रमित करने का कार्य करेंगे।

आपको अपने काम पर अधिक फोकस करने की ज़रूरत होगी। लेकिन शनि गुरु बृहस्पति को प्रभावित करते हुए आपके पिता को स्वास्थ्य कष्ट दे सकते हैं। 20 नवंबर को गुरु बृहस्पति पुनः मार्गी होते हुए कुम्भ में विराजमान होंगे, जिससे आपका एकादश भाव प्रभावित होगा। इस दौरान आपको अपने भाग्य का साथ मिलेगा। ये समय आपके लिए सबसे बेहतरीन समय साबित होगा।

आपको अपने प्रेम जीवन में भरपूर सफलता मिलेगी। साथ ही दांपत्य जीवन में भी सुख की प्राप्ति होगी। एकादश भाव में मौजूद गुरु बृहस्पति आपको अपार धन लाभ कराएगा।

उपाय: घर से निकलते समय हर रोज मस्तक पर केसर का तिलक ज़रूर लगाएं।

2. वृषभ राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु गोचर 2021 के अनुसार वृषभ राशि में गुरु दशम भाव को प्रभावित करेंगे। 6 अप्रैल से 15 सितंबर तक गुरु बृहस्पति मकर राशि से निकलते हुए कुम्भ में विराजमान होंगे जिससे आपका दशम भाव सक्रिय होगा। इस दौरान आपको अपने कार्य क्षेत्र में कई समस्याएं आएंगी।

हालांकि पारिवारिक जीवन के लिए समय अच्छा रहेगा। इस दौरान आर्थिक पक्ष कुछ कमज़ोर हो सकता है। ऐसे में आपको पहले से अधिक मेहनत करने की आवश्यकता होगी।

इसके बाद 15 सितंबर को गुरु बृहस्पति वक्री होते हुए वापस मकर में विराजमान हो जाएंगे। वो वहां 20 नवंबर तक उसी अवस्था में रहेंगे, जिससे आपका नवम भाव प्रभावित होगा। इस दौरान आपको अनेक यात्राओं पर जाने का मौका मिलेगा। पिता को स्वास्थ्य संबंधित परेशानियों में वृद्धि की संभावना है।

हालांकि आपके लिए ये अवधि शुभ रहेगी और आपको भाग्य का साथ मिलेगा। वहीं इसके बाद जब 20 नवंबर को गुरु बृहस्पति मार्गी होते हुए पुनः कुंभ में लौट आएंगे तब आपका वापस से दशम भाव सक्रिय होगा। इससे कार्यक्षेत्र में बदलाव की स्थिति बनेगी। यदि आप नौकरी बदलने का सोच रहे थे तो स्थानांतरण के योग बनेंगे।

उपाय: बृहस्पतिवार के दिन ब्राह्मणों व ज़रूरतमंदों को भोजन कराएं।

3. मिथुन राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु गोचर 2021 के अनुसार मिथुन राशि से गुरु नवम भाव में गोचर करेंगे। इस स्थिति का आपकी राशि पर पूर्णतः शुभ प्रभाव रहेगा।

6 अप्रैल से 15 सितंबर तक गुरु बृहस्पति मकर राशि से निकलते हुए कुम्भ में विराजमान होंगे जिससे भाग्य की प्राप्ति होगी और आपको हर निर्णय लेने में सफलता मिलेगी। साथ ही वैवाहिक जीवन में जीवनसाथी से संबंध बेहतर होंगे। उनके मान-सम्मान में वृद्धि होगी। जिसके चलते आपको धन लाभ होगा।

किसी धार्मिक यात्रा पर जाने के योग बनेंगे। छात्रों को पढ़ाई के सिलसिले में घर से दूर जाना पड़ सकता है।

इसके बाद गुरु बृहस्पति वक्री करते हुए 15 सितंबर से 20 नवंबर तक मकर राशि में वापस विराजमान हो जाएंगे, जिससे आपको प्रतिकूल फलों की प्राप्ति होगी। इस दौरान आपका अष्टम भाव प्रभावित होगा। इससे आपको स्वास्थ्य संबंधित कई तरह की परेशानियां तकलीफ़ दे सकती हैं। साथ ही धन के मामले में भी कुछ दिक्कत हो सकती है।

हालांकि 20 नवंबर से जब गुरु बृहस्पति मार्गी होते हुए पुनः आपके नवम भाव में विराजमान होंगे तो आपकी परेशानी काफी हद तक कम हो जाएंगी। जिससे आपके भाग्य में वृद्धि होगी, और आपके सभी काम बनने शुरू होंगे। पिता को लाभ मिलेगा।

उपाय: बृहस्पतिवार के दिन केले के वृक्ष की परिक्रमा करें और उस पर चने की दाल अर्पित करें।


4. कर्क राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु गोचर 2021 के अनुसार गुरु ग्रह कर्क राशि के अष्टम भाव में गोचर करेगा। जिससे आपको प्रतिकूल फलों की प्राप्ति होगी। आपका मन आध्यात्मिक कामों में अधिक लगेगा। दांपत्य जीवन में संतान पक्ष को भाग्य का साथ थोड़ा कम मिलेगा।

पिता को स्वास्थ्य कष्ट संभव है। धन हानि होने के भी योग के बीच न चाहते हुए भी किसी अनचाही यात्रा पर जाना होगा। यदि बैंक से लोन लेने की सोच रहे थे तो उसमें सफलता संभव है।

इसके बाद गुरु बृहस्पति वक्री करते हुए 15 सितंबर से 20 नवंबर तक मकर राशि में वापस विराजमान होते हुए आपके सप्तम भाव को प्रभावित करेंगे, जिससे व्यावसायिक जातकों को व्यवसाय में ज़बरदस्त सफलता मिलेगी। इस समय उत्तम धन लाभ होगा। घर-परिवार में आपके मान-सम्मान में वृद्धि होगी। लेकिन बावजूद इसके दांपत्य जीवन में उतार-चढ़ाव बरकरार रहेगा। फिर भी जीवन में प्रेम की भरमार रहेगी।

वहीं जब 20 नवंबर के बाद गुरु मार्गी होते हुए वापस कुम्भ में लौट आएंगे और आपका पुनः अष्टम भाव सक्रिय होगा,तब आपको अपने स्वास्थ्य के प्रति पहले से ज्यादा सचेत रहने की ज़रूरत होगी। इस समय कोई पुराना पैसा लौट सकता है। आध्यात्मिक मामलों में बढ़ोतरी देखी जाएगी।

उपाय: गाय को चने की दाल अथवा हरी सब्जी खिलाएं।

5. सिंह राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु गोचर 2021 के अनुसार गुरु बृहस्पति सिंह राशि के सप्तम भाव में गोचर करेगा। यह समय आपके प्रेम जीवन के लिए बेहद उत्तम रहेगा। विशेष रूप से अविवाहित लोगों के इस अवधि में विवाह होने की संभावना रहेगी।

वहीं जो लोग वैवाहिक है उनके विवाहित जीवन में सुख का आगमन होगा और आपके जीवनसाथी को कार्य क्षेत्र में कोई बड़ा लाभ या मान-सम्मान प्राप्त होगा। आपकी आमदनी में भी लगातार बढ़ोतरी होगी। स्वास्थ्य के लिहाज से भी समय उत्तम रहेगा।

इसके बाद बृहस्पति वक्री करते हुए 15 सितंबर से 20 नवंबर तक मकर राशि में वापस विराजमान होते हुए आपके षष्ठम भाव को प्रभावित करेंगे, जिससे आप अपना कोई बकाया कर्ज चुकाने में सफल होंगे। इस समय सेहत को लेकर सावधान रहें, क्योंकि किसी बड़ी बीमारी के संकेत दिखाई दे रहे हैं। इस बीमारी से आपके ख़र्चों में बढ़ोतरी होगी।

हालांकि संतान को सुख मिलेगा, लेकिन मातृ पक्ष के लोगों से आपको कुछ समस्या हो सकती हैं।

इसके बाद 20 नवंबर से जब गुरु पुन: मार्गी होते हुए आपके सप्तम भाव में विरजमान हो जाएंगे तब आपके दांपत्य जीवन में भी ख़ुशियां लौटती दिखाई देंगी। आपको जीवनसाथी का सहयोग मिलेगा। मेहनत के अनुसार सभी कामों में सफलता मिल सकेगी। आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। साथ ही निर्णय क्षमता में वृद्धि होगी।

उपाय: प्रत्येक बृहस्पतिवार के दिन पीपल के वृक्ष को बिना छुए जल अर्पित करें।

6. कन्या राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु बृहस्पति कन्या राशि के षष्ठम भाव में गोचर करेंगे। ये समय शिक्षा के लिए अच्छा रहेगा। प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे छात्रों को सफलता मिलेगी। अपने खान-पान का विशेष ध्यान रखें अन्यथा मोटापे में वृद्धि आपको परेशान कर सकती है। आप अपने ख़र्चों पर भी लगाम लगाने में असफल रहेंगे। कार्यक्षेत्र पर हर कार्य में कई रुकावट आने से मन उदास रहेगा।

वैवाहिक जीवन प्रतिकूल रहेगा, क्योंकि जीवनसाथी से संबंधों में दिक्कत आ सकती है। साथ ही किसी व्यक्ति से प्रॉपर्टी विवाद भी संभव है।

इसके बाद 15 सितंबर से 20 नवंबर तक गुरु के वक्री होने पर आपका पंचम भाव प्रभावित होगा जिससे संतान पक्ष को स्वास्थ्य कष्ट होने से परेशानी हो सकती है। शिक्षा के लिए ये समय बहुत अच्छा रहेगा। पढ़ाई-लिखाई में छात्रों को कुछ अवरोध के बाद सफलता मिल सकेगी। आपकी आमदनी बढ़ेगी जिससे आपको मान-सम्मान की प्राप्ति होगी।

वहीं जब 20 नवंबर से गुरु बृहस्पति पुनः मार्गी होते हुए वापस आपके षष्ठम भाव में आएंगे तो आपके स्वास्थ्य में अचानक से गिरावट दर्ज हो सकती। दांपत्य जीवन भी तनावपूर्ण रहेगा और आपको अपने सुखों में कमी महसूस होगी। साथ ही आर्थिक जीवन भी प्रभावित होने से ख़र्चों में बढ़ोतरी होगी, जिससे तंगी होने की आशंका है।

उपाय: गुरुवार के दिन गौमाता को गुड़ और गेहूं खिलाएं।

7. तुला राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु बृहस्पति कन्या राशि के पंचम भाव में गोचर करेंगे। ये समय आपकी शिक्षा के लिए बेहद अच्छा रहेगा। छात्र पढ़ाई-लिखाई में सफलता प्राप्त कर सकेंगे। यदि उच्च शिक्षा ग्रहण करने का विचार कर रहे थे तो उसके लिए भी समय अच्छा है।

दांपत्य जीवन अच्छा रहेगा। शादीशुदा जातकों के जीवन में किसी नए मेहमान का आगमन संभव है। घर में किसी विवाह योग्य सदस्य का विवाह संपन्न हो सकता है। आपको संतान सुख की भी प्राप्ति होगी। धन से जुड़ी हर समस्या दूर होगी और आमदनी में बढ़ोतरी दिखाई देगी। यदि आप सिंगल थे तो आपके जीवन में किसी ख़ास व्यक्ति का आगमन हो सकता है और दोस्तों से भरपूर सहयोग मिलेगा।

वहीं इसके बाद बृहस्पति वक्री होते हुए 15 सितंबर से 20 नवंबर तक आपके चतुर्थ भाव में आएंगे, जिससे माता को स्वास्थ्य से जुड़ी समस्या हो सकती है। यदि आप विदेश में रहते हैं तो इस समय आप अपने वतन लौटने का प्लान कर सकते हैं। पैतृक संपत्ति का लाभ मिलेगा।

वर्ष के अंतिम भाग में जब 20 नवंबर को गुरु बृहस्पति पुनः मार्गी होते हुए कुम्भ में आएंगे तो आपका पंचम भाव सक्रिय होगा, जिससे हर प्रकार का संतान सुख प्राप्त होगा। धन से जुड़ी हर आर्थिक तंगी भी दूर होगी। साथ ही शिक्षा में सफलता मिलेगी। कार्यक्षेत्र पर आप किसी भी निर्णय को लेने में सक्षम महसूस करेंगे।

उपाय: रोज़ाना गाय को आटे की लोई पर हल्दी का तिलक लगाकर खिलाएं।

8. वृश्चिक राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय बृहस्पति ग्रह आपकी राशि से चतुर्थ भाव में गोचर करेंगे। यह गोचर आपको पारिवारिक समस्या दे सकता है। जिससे परिवार में कुछ दिक्कतें आएंगी। घरेलू खर्च बढ़ेंगे और आर्थिक तंगी भी संभव है।

प्रॉपर्टी खरीदने के योग बनेंगे। माता जी का स्वास्थ्य खराब हो सकता है, जहां आपको धन खर्च करना पड़ेगा। संतान पक्ष के लिए भी समय अनुकूल नहीं दिखाई दे रहा। यदि आपकी संतान बाहर जाने का विचार कर रही हैं तो उन्हें सफलता मिल सकती है।

वहीं इसके बाद 15 सितंबर से 20 नवंबर तक गुरु बृहस्पति वक्री होते हुए मकर में जाएंगे जिससे आपका तृतीय भाव प्रभावित होगा। इस दौरान आपको कई यात्राओं पर जाना पड़ेगा। इन यात्राओं में सफलता मिलेगी। आप अपने छोटे भाई-बहनों के प्रति अधिक संजीदा दिखाई देंगे। आर्थिक जीवन में भाग्य का साथ मिलेगा और अपार धन की प्राप्ति होगी।

वर्ष के अंतिम भाग में जब 20 नवंबर को जब गुरु बृहस्पति पुनः मार्गी होते हुए आपके चतुर्थ भाव में विराजमान होंगे तो परिवार में चली आ रही तनातनी खत्म होगी। आप परिवार की मदद से किसी प्रॉपर्टी को खरीदने पर विचार करेंगे। हालांकि आपके घरेलू खर्च में वृद्धि होगी क्योंकि आप घर पर अपना अच्छा-ख़ासा धन खर्च करते दिखाई देंगे।

उपाय: बृहस्पतिवार के दिन किसी जानकार की सलाह पर उत्तम गुणवत्ता वाला पुखराज रत्न अपनी तर्जनी उंगली में धारण करें।


9. धनु राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु ग्रह आपकी राशि धनु के तृतीय भाव में गोचर करेंगे। जिससे आपको कई छोटी यात्राओं पर जाने का अवसर मिलेगा। संभावना है कि आपको किसी तीर्थाटन पर जाना पड़े। परिवार में छोटे भाई-बहनों का प्रेम मिलेगा और आप उन्हें अपना हर संभव सहयोग भी देते दिखाई देंगे।

माता का स्वास्थ्य कुछ कमजोर रह सकता है, ऐसे में उनका ध्यान रखें। आर्थिक जीवन में अपने निजी प्रयास जारी रखें तभी आपको धन लाभ होगा।

वहीं 15 सितंबर को गुरु बृहस्पति वक्री होते हुए आपके द्वितीय भाव में विराजमान हो जाएंगे, जिससे परिवार में तनाव के बाद कुछ शांति आएगी। आप अपनी किसी प्रॉपर्टी को किराए पर देने का विचार कर सकते हैं। माता से लाभ प्राप्त होगा। आप अपने परिवार के लोगों के प्रति सहानुभूति व्यक्त करेंगे। आपको इस अवधि में अच्छा भोजन करने का अवसर मिलेगा।

इसके बाद 20 नवंबर को जब गुरु देव पुनः मार्गी होते हुए आपके तृतीय भाव में विराजमान होंगे तब आपको सावधान रहने की ज़रूरत होगी, क्योंकि संभावना है कि आप में आलस्य की वृद्धि हो, जिससे हर कार्य में आप बाधा महसूस करेंगे। लेकिन आमदनी के योग बनेंगे। छोटे भाई बहनों का साथ मिलेगा और उनके साथ किसी यात्रा पर जाना भी पड़ सकता है।

उपाय: शुक्ल पक्ष के बृहस्पतिवार के दिन किसी जानकार की सलाह पर पुखराज रत्न अपनी तर्जनी अंगुली में धारण करें।

10. मकर राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु ग्रह आपकी राशि से द्वितीय भाव में विराजमान रहेंगे। वो यहां 15 सितंबर तक रहेंगे और इसके बाद वक्री करते हुए आपके लग्न यानी प्रथम भाव में आ जाएंगे। ऐसे में शुरुआत में आपको अपने छोटे भाई-बहनों का सहयोग मिलेगा। परिवार में खुशहाली का वातावरण दिखाई देगा।

संभव है कि परिवार में किसी उत्सव या मंगल कार्यक्रम का आयोजन हो। किसी नन्हें मेहमान के आने के या किसी विवाह योग्य सदस्य के विवाह के बंधन में बंधने के योग बन रहे हैं। व्यापारी वर्ग को विदेशों से धन लाभ होगा।

हालांकि इसके बाद वक्री गुरु भी आपको शुभ फल देगा। जिससे 20 नवंबर तक आपको अनुकूल परिणाम मिलेंगे। विदेशी स्रोतों से लाभ अर्जित करने में आप सफल रहेंगे। आपके अपने निजी प्रयासों से सफलता मिलेगी। जिससे आप अपने कई महत्वपूर्ण निर्णय लेने में सफल हो सकते हैं।

अंतिम भाग में यानि 20 नवंबर से जब गुरु देव पुनः मार्गी होंगे तो आपको अपनी वाणी में मधुरता का एहसास होगा। जिससे आप दूसरों को अपनी ओर आकर्षित करने में सफल रहेंगे। आपके इस स्वभाव से आपका हर काम सफल होगा। इससे कार्यक्षेत्र पर आपकी आमदनी में भी बढ़ोतरी होगी, लेकिन आपको इस समय अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखने की ज़रूरत होगी।

उपाय: पीले मीठे चावल बृहस्पतिवार के दिन ग़रीबों में बांटें।

11. कुंभ राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु आपकी राशि के लग्न भाव में ही गोचर करेंगे। इस गोचर के दौरान आपको 6 अप्रैल से 15 सितंबर तक मानसिक तनाव से शांति मिलेगी। ऐसे में आप किसी भी निर्णय को लेने में सक्षम महसूस करेंगे। दांपत्य जीवन अच्छा रहेगा। साथ ही प्रेम जीवन में भी भाग्य का साथ मिलने से ये समय बेहद अच्छा दिखाई दे रहा है।

वहीं इसके बाद 15 सितंबर से 20 नवंबर तक गुरु बृहस्पति वक्री होंगे और आपके द्वादश भाव में विराजमान हो जाएंगे जिससे कुछ परेशानी आ सकती हैं। आपके ख़र्चों में ज़बरदस्त बढ़ोतरी होगी। इस समय स्वास्थ्य के लिहाज से सतर्क रहना होगा, अन्यथा कोई गंभीर समस्या हो सकती है। आमदनी में गिरावट होगी जिससे धन हानि होने की आशंका है।

इसके बाद जब गुरु बृहस्पति पुनः 20 नवंबर से मार्गी होंगे तो आपका प्रथम भाव सक्रिय हो जाएगा जिससे आपकी परेशानी दूर होंगी। आप निर्णय लेने में सफल होंगे। इस समय अनेक अटकी परियोजनाओं पर आप दोबारा विचार करते दिखाई देंगे। प्रेम संबंधों में सफलता मिलेगी।

दांपत्य जीवन में भी प्रेम और खुशी लौटेगी। समाज में मान-सम्मान बढ़ेगा व आर्थिक पक्ष भी मजबूत होगा।

उपाय: बृहस्पतिवार के दिन ज़रूरतमंद विद्यार्थियों को शिक्षा की सामग्री भेंट करें।

12. मीन राशिफल : बृहस्पति गोचर 2021 में…
इस समय गुरु यानि बृहस्पति 2021 में आपकी राशि से द्वादश भाव में ही गोचर करेंगे। यह गुरु आपके स्वास्थ्य के लिहाज से ठीक नहीं है। हालांकि विदेश जाने की इच्छा रखने वाले जातकों के लिए शुभ रहेगा। आपके ख़र्चों में बढ़ोतरी होगी और आप धर्म-कर्म के कार्यो में अधिक बढ़-चढ़कर हिस्सा लेंगे।

आपको अपने कार्य क्षेत्र के सिलसिले में किसी सुदूर यात्रा पर भी जाने का अवसर प्राप्त होगा, जिस दौरान लाभ के लिए प्रयास करते रहने की ज़रूरत होगी।

वहीं जब 15 सितंबर से 20 नवंबर तक गुरु बृहस्पति आपके एकादश भाव में होंगे तब आपको हर कार्य में ज़बरदस्त सफलता मिलेगी। कार्य क्षेत्र में वरिष्ठ अधिकारियों से अच्छे संबंधों का आपको इस समय लाभ मिलेगा। आपके धन लाभ के प्रबल योग बनेंगे और संभावना है कि कई माध्यमों से धन लाभ हो।

वहीं साल के अंतिम भाग में जब गुरु पुनः 20 नवंबर को आपके द्वादश भाव में विराजमान होंगे तब आपके ख़र्चों में अचानक से बढ़ोतरी होगी और साथ ही स्वास्थ्य कष्ट होगा। योग है कि आपको पैरों में दर्द की किसी समस्या से दो-चार होना पड़े।

बावजूद इसके आप इस समय किसी विदेशी माध्यम से लाभ अर्जित करने में सफल रहेंगे। लेकिन आपके शत्रु आपको हर समय परेशान करते रहेंगे। इस समय कोर्ट-कचहरी में फैसला आपके विरोधी के पक्ष में आ सकता है।

उपाय: रोज़ाना देव गुरु बृहस्पति के बीज मंत्र “ॐ ग्रां ग्रीं ग्रौं सः गुरुवे नमः” का एक माला जप करें।

अशुभ गुरु को प्रसन्न करने के सरल उपाय-
यदि गोचर बृहस्पति आपकी राशि के लिए अशुभ हैं तो, गरीब और ज़रूरतमंद विद्यार्थियों की मदद करें। आम, बरगद, पीपल एवं अनार का वृक्ष लगाएं। महिलाएं कार्य उन्नति एवं उत्तम दाम्पत्य जीवन के लिए बृहस्पतिवार के व्रत रखें । सभी स्त्री/पुरुष बृहस्पति का गायत्री मंत्र- ॐ अंगिरो जाताय विद्महे वाचस्पतये धीमहि तन्नो गुरूः प्रचोदयात् । का जप प्रतिदिन स्नान के बाद एक माला जपें ।

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