मामला दो- रिटायर्ड डॉक्टर से 18 नहीं 94 लाख ठगे
दूसरे अन्य मामले में कुछ दिन पहले सामने आई ठगी की जांच सिटी पुलिस करने में जुटी है। सिविल अस्पताल के रिटायर्ड मेडिकल ऑफिसर के खाते में 18 लाख रुपए की ठगी आईपीओ के माध्यम से की गई थी। लेकिन आंकड़ा हकीकत में 94 लाख से अधिक का है। हाल ही में उनके रिटायर्मेंट पर पेंशन सहित अन्य सेविंग रखी हुई थी। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी है। एसपी प्रदीप शर्मा के नेतृत्व में टीम लगी हुई है। हालांकि अभी कोई सफलता हाथ नहीं लगी है। पुलिस हर स्तर से जांच कर रही है। उक्त मामले में आरटीजीएस के माध्यम से उक्त राशि जमा की गई थी। बाद में सभी फोन बंद हो गए, साफ तौर पर धोखाधड़ी सामने आई।
किसी एप्स को अलॉउ न करें
अज्ञात कॉल, अज्ञात मेल और एप्स से भी बचें। ओटीपी, पिन नंबर इत्यादि किसी से शेयर न करें। कोई भी बैंक कभी किसी उपभोक्ता से निजी जानकारी नहीं लेती। अब इंटरनेट बैंकिंग के माध्यम से ठगी होने लगी है, जिसमें स्क्रीन कैप्चरिंग एप से ठगी हो रही है। इससे बचने के लिए किसी भी नई एप को अलॉव न करें। अलर्ट रहकर इस तरह की ठगी से बचने की जरूरत है।
-अंकिता बंसल, ब्रांच मैनेजर, एसबीआई, ब्यावरा
दूसरे अन्य मामले में कुछ दिन पहले सामने आई ठगी की जांच सिटी पुलिस करने में जुटी है। सिविल अस्पताल के रिटायर्ड मेडिकल ऑफिसर के खाते में 18 लाख रुपए की ठगी आईपीओ के माध्यम से की गई थी। लेकिन आंकड़ा हकीकत में 94 लाख से अधिक का है। हाल ही में उनके रिटायर्मेंट पर पेंशन सहित अन्य सेविंग रखी हुई थी। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी है। एसपी प्रदीप शर्मा के नेतृत्व में टीम लगी हुई है। हालांकि अभी कोई सफलता हाथ नहीं लगी है। पुलिस हर स्तर से जांच कर रही है। उक्त मामले में आरटीजीएस के माध्यम से उक्त राशि जमा की गई थी। बाद में सभी फोन बंद हो गए, साफ तौर पर धोखाधड़ी सामने आई।
किसी एप्स को अलॉउ न करें
अज्ञात कॉल, अज्ञात मेल और एप्स से भी बचें। ओटीपी, पिन नंबर इत्यादि किसी से शेयर न करें। कोई भी बैंक कभी किसी उपभोक्ता से निजी जानकारी नहीं लेती। अब इंटरनेट बैंकिंग के माध्यम से ठगी होने लगी है, जिसमें स्क्रीन कैप्चरिंग एप से ठगी हो रही है। इससे बचने के लिए किसी भी नई एप को अलॉव न करें। अलर्ट रहकर इस तरह की ठगी से बचने की जरूरत है।
-अंकिता बंसल, ब्रांच मैनेजर, एसबीआई, ब्यावरा