इस तीर्थ यात्रा ट्रेन में पहली बार 50 तपस्वी एवं 100 नि:शुल्क सधार्मिक बन्धु यात्रा का लाभ ले रहे हैं। करीब 850 अन्य यात्री भी इस ट्रेन में सफर कर रहे हैं। स्पेशल ट्रेन की दस बोगियों का नामकरण तीर्थंकरों के नाम से किया गया है जिनमें भगवान चन्द्रप्रभु कोच, महावीर कोच, पाŸवनाथ कोच, आदिश्वर कोच, वासुपूज्य कोच, कुन्थुनाथ कोच, अजीतनाथ कोच, शांति नाथ कोच, धर्मनाथ कोच, नेमीनाथ कोच शामिल हैं।
READ MORE: उदयपुर में पूर्व केंद्रीय मंत्री गिरिजा व्यास ने कुछ ऐसा कर के बताया महंंगाई का असर, देखें video अध्यक्ष चन्द्रप्रकाश चोरडिय़ा ने बताया कि स्पेशल ट्रेन उदयपुर से रवाना होकर 30 सितम्बर को आगरा पहुंचेगी, जहां पर सभी यात्रियों को मथुरा-वृंदावन की यात्रा कराई जाएगी। 1 अक्टूबर को सम्मेद शिखर पहुंचेगी। 2 व 3 अक्टूबर को यात्री शिखर की चढ़ाई एवं धर्म आराधना करेंगे। 3 अक्टूबर को अपराह्न बाद सम्मेद शिखर से यात्रियों को लेकर ट्रेन कोलकाता के लिए प्रस्थान करेगी। 4 अक्टूबर को तेरापंथ संघ के आचार्य महाश्रमण के दर्शन-वंदन का रहेगा एवं 5 अक्टूबर को कोलकाता के विभिन्न मंदिरों के दर्शन एवं भ्रमण का कार्यक्रम रहेगा। कोलकाता से रवाना होकर 6 अक्टूबर को बोधगया-पावापुरी की यात्रा होगी। रात्रि विश्राम पावापुरी में ही रहेगा। 7 अक्टूबर को राजगिरी पहुंचेंगे, जहां इस यात्रा का अंतिम पड़ाव होगा। वहां से सभी यात्री 8 अक्टूबर को ट्रेन से उदयपुर के लिए प्रस्थान करेंगे और 9 अक्टूबर को यहां पहुंचेंगे।