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दरअसल नाेएडा में सफाईकर्मी नोएडा प्राधिकरण में ठेकेदारी प्रथा को खत्म करने तथा मोबाइल एप से कार्यस्थल की लोकेशन नहीं भेजे जाने की मांग कर रहे हैं। बीते दिनों मांग न माने जाने की स्थिति में सफाई कर्मियों ने धर्म परिवर्तन किए जाने की धमकी दी थी। इस पर संज्ञान लेते हुए मंगलवार की रात नोएडा प्राधिकरण ने थाना सेक्टर-20 में 12 सफाईकर्मियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करा दिया। इससे सफाईकर्मियों का गुस्सा और बढ़ गया। गुस्साए सफाईकर्मियों ने भूख हड़ताल शुरु कर दी। इनके नेता बबलू पारचा ने कहा कि जब तक उनकी मांगें नहीं मानी जाती और सफाईकर्मियों पर दर्ज मुकदमे वापस नहीं लिए जाते हैं तब तक उनकी भूख हड़ताल जारी रहेगी। यह भी पढ़ें
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एडिशनल डीसीपी रणविजय सिंह ने बताया की संविदा पर कार्यरत सफाईकर्मी सेक्टर-6 स्थित नोएडा प्राधिकरण कार्यालय के बाहर प्राधिकरण की विरोध कर रहे है। इनकी प्राधिकरण के अधिकारियों से साथ बैठक भी हुई इनकी मुख्य मांगो को मान लिया गया है लेकिन कुछ कर्मचारी अपने निजी हितों को साधने के कारण अन्य कर्मचारियों को भड़का रहे हैं। प्राधिकरण के अधिकारियों की तहरीर पर 13 सफाई कर्मचारियो के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। यह भी पढ़ें: इस बीच नोएडा प्राधिकरण ने सफाई कर्मचारियो हड़ताल पर सख्त रुख अख़्तियार कर लिया है। ओएसडी इंदु प्रकाश ने एक प्रेस रिलीज जारी करके कहा है कि नोएडा क्षेत्र के सफाई कर्मियों के विभिन्न संगठनों के प्रतिनिधि द्वारा सफाई कर्मचारियों को अपने निजी स्वार्थ के लिए गुमराह कर एक माह से ही सफाई के काम को बाधित किया जा रहा है। 16 सितंबर को प्राधिकरण जन सेवा विभाग में सभी कॉन्ट्रैक्ट के माध्यम से रखे गए 1360 सफाई कर्मियों में 1041 सफाई कर्मचारियों ने मोबाइल ऐप से उपस्थिति दर्ज कराई। जिन कर्मचारियों ने मोबाइल ऐप से अपनी उपस्थिति दर्ज नहीं कराई है उनसे काम नहीं कराया जाएगा।