एक पूर्व शीर्ष पाकिस्तानी राजनयिक का कहना है कि आतंकवाद संबंधि कार्रवाई करने और अफगानिस्तान में शांति बहाल करने को लेकर अमरीका दबाव बना सकता है। अमरीका में पाक के राजदूत रहे हुसैन हक्कानी ने मीडिया को बताया कि पाक के साथ रणनीतिक वार्ता प्रक्रिया को फिर से शुरू करा जा सकता है। यह उस स्तर या पैमाने पर नहीं होगा जैसा ओबामा प्रशासन के दौरान था।
Pakistan: इमरान सरकार के खिलाफ अमरीकी दूतावास का विवादित ट्वीट, बवाल के बाद मांगी माफी इस्लामाबाद के प्रति कड़ा रुख उन्होंने कहा कि संभावना है कि बाइडन प्रशासन इस्लामाबाद के प्रति कड़ा रुख अपना सकते हैं। अमरीका पाकिस्तान को एफएटीएफ के मुद्दे समेत आतंकवाद से संबंधित मुद्दों पर कार्रवाई करने व अफगानिस्तान में शांति बहाली के प्रयासों का समर्थन करने के लिए कह सकता है।
गौरतलब है कि ट्रंप प्रशासन ने आतंकवाद समूहों पर लगाम लगाने में विफल रहने के बाद 2018 में पाक को सुरक्षा सहायता निलंबित कर दी थी। इसके बाद से अमरीका और पाकिस्तान के बीच रिश्ते तल्ख होते चले गए। बाइडन की जीत में भारतीय मूल के मतदातों का भी योगदान रहा है। ऐसे में पाकिस्तान के खिलाफ अधिक कड़ाई देखने को मिल सकती है।