Corona के खिलाफ सरकार शुरू करने जा रही है ‘टेस्टिंग फेज’, अगला एक हफ्ता होगा बहुत महत्वपूर्ण

Highlight
– इस अभियान के आधार पर ही लॉकडाउन के भविष्य का फैसला किया जाएगा
– 21 अप्रैल को खत्म हो रहा है लॉकडाउन

नई दिल्ली। भारत में कोरोना वायरस ( CoronaVirus ) का प्रकोप तेजी से बढ़ता ही जा रहा है। संक्रमित लोगों की संख्या 5000 के बेहद करीब पहुंच चुकी है। वहीं 21 दिन के लॉकडाउन ( LockDown ) का भी आखिरी हफ्ता शुरू हो गया है, लेकिन अभी तक स्थिति काबू में नहीं है। ऐसे में केंद्र सरकार की तरफ से एक बड़ा अभियान शुरू करने पर विचार किया जा रहा है, जो ये तय करेगा कि 14 अप्रैल के बाद लॉकडाउन को बढ़ाया जाए या नहीं।

कोरोना के खिलाफ चलेगा टेस्टिंग फेज

दरअसल, सरकार अगले कुछ दिनों में बड़े पैमाने पर कोरोना के खिलाफ टेस्टिंग फेज शुरू करने पर विचार कर रही है। खबरों की मानें तो भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (ICMR) इस काम की तैयारी में लगा हुआ है। एक अंग्रेजी वेबसाइट की खबर के मुताबिक, “मेक-या-ब्रेक सप्ताह” के दौरान कोरोना के खिलाफ चलाए जाने वाला टेस्टिंग फेज ये तय करेगा कि लॉकडाउन को जारी रखा जाए या फिर नहीं। इसके अलावा इस टेस्टिंग फेज से कोरोना के संदिग्धों का पता चलेगा, ताकि जल्द से जल्द उन लोगों को क्वारंटीन किया जा सके।

‘मेक या ब्रेक’ सप्ताह में होगा टेस्टिंग फेज शुरू!

सरकारी सूत्रों की तरफ से कहा गया है, “इस सप्ताह को आप ‘मेक या ब्रेक’ सप्ताह कह सकते हैं। इसी दौरान ये तय किया जाएगा कि लॉकडाउन को आगे बढ़ाना है या नहीं। अभी तक हमारी आलोचना हो रही है कि हमने टेस्टिंग का काम पर्याप्त मात्रा में नहीं किया, लेकिन अब हम ये सुनिश्चित करेंगे कि इस वायरस को रोका जाए। इसके अलावा देश में इन्फ्लूएंजा जैसी बीमारियां भी बनी हुई हैं।”

ICMR का ‘एंटी रैपिड बॉडी टेस्ट’ भी चल रहा है

आपको बता दें कि भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद पहले ही ‘एंटी रैपिड बॉडी टेस्ट’ की एडवाइजरी जारी कर चुका है। ये टेस्ट कन्टेनमेंट जोन और प्रवासी बहुल इलाकों में किया जा रहा है। पिछले 24 घंटे में 12,584 टेस्ट किए गए हैं। वहीं अभी तक टोटल टेस्ट की संख्या 1,14,015 तक पहुंच गई है।

24 घंटे में 500 से ज्यादा मामले

आपको बता दें कि पिछले 24 घंटे में देश के अंदर कोरोना के 508 नए मामले सामने आ चुके हैं और मंगलवार तक टोटल आंकड़ा 4789 को पार कर चुका है। वहीं 124 लोगों की जान जा चुकी है और 353 मरीजों को ठीक हो जाने के बाद डिस्चार्ज कर दिया गया है।

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