सीएम योगी ने अखिलेश और मायावती को छोड़ा पीछे, चार साल में सर्वाधिक खर्च कर गरीबों की मदद की

– मुख्यमंत्री विवेकाधीन कोष से गरीबों की मदद करने वालों में योगी सबसे आगे- चार साल में अरबों रुपये खर्च कर की गरीबों की मदद

<p>yogi adityanath</p>
पत्रिका न्यूज नेटवर्क.
लखनऊ. गरीबों व गंभीर मजबूर मरीजों की मदद करने के मामले में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) का कोई सानी नहीं है। सीएम योगी (CM Yogi) मदद के लिए खर्च करने के मामले में सबसे आगे हैं। इस मामले में उन्होंने पूर्व के मुख्यमंत्रियों अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) व मायावती (Mayawati) को भी पीछे छोड़ दिया है। सीएम ने बीते चार वर्षों में करीब दस अरब रुपए खर्च कर गरीबों की मदद की। यह मदद उन्होंने मुख्यमंत्री विवेकाधीन कोष के जरिए की, जिसमें मदद करने की कोई सीमा नहीं है। मुख्यमंत्री ने करीब 1.12 लाख से ज्यादा लोगों की मदद की है। वहीं अखिलेश यादव ने मुख्यमंत्री रहते 42,508 लोगों की मदद की थी। मायावती ने सबसे कम 18,462 लोगों की ही सीएम रहते सहायता की थी।
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साल दर साल इतने लोगों की मदद की-
मुख्यमंत्री बनने से पहले भी योगी आदित्यनाथ मदद करते थे। प्रदेश के मुखिया बनने के बाद यह सीमा बढ़ गई। सीएम ऑफिस की ओर से फंड को लेकर जारी किए गए आंकड़ों के अनुसार, मुख्यमंत्री विवेकाधीन कोष से साल 2017-18 में उन्होंने 184 करोड़ 42 लाख 88 हजार 750 रुपए से 13,224 लोगों को मदद की थी। अगल वर्ष मतलब 2018-19 में 256 करोड़ 34 लाख 61 हजार 400 रुपए से 17,772 लोगों को मदद की। 2019-20 में 280 करोड़ 23 लाख 56 हजार 695 रुपए से 18,014 लोगों की सहायता की गई। साल 2020-21 में 64,357 लोगों को 996 करोड़ रुपए दिए गए।
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सबसे ज्यादा इन रोगियों का कराया इलाज-
सीएम योगी ने सर्वाधिक कैंसर, किडनी व हृदय रोग के इलाज के लिए रुपए दिए। सर्वाधिक 25,425 कैंसर रोगियों के लिए 394 करोड़ 22 लाख 24,711 रुपए दिए। अन्य प्रकार की बीमारियों से ग्रसित 21,755 रोगियों के इलाज के लिए 305 करोड़ 13 लाख 9,350 रुपए दिए। वहीं 180 करोड़ 65 लाख 82,475 रुपयों से 9427 लोगों के किडनी के इलाज कराया गया। हृदय रोग के लिए भी 7,019 लोगों को 68 करोड़ 35 लाख 69,400 रुपए दिए हैं।
इससे पहले भी करते थे-
मदद-गोरखपुर से पांच बार सांसद रहे योगी आदित्यनाथ का समाजिक सेवा का भाव मुख्यमंत्री बनने से पहले भी था। गोरखनाथ मंदिर में सुबह-सुबह छह बजे से लोगों का आना शुरू हो जाता था। वे सभी अपनी समस्याएं बताते और सीएम योगी उनकी सहायता करते। यह समस्याएं शादी ब्याह, बीमारी के लिए इलाज आदि से जुड़ी सर्वाधिक होती और सीएम उनकी सहायदा कभी एमपी फंड तो कभी गोरक्षा पीठ में जमा रुपयों से किया करते। अधिकतर मदद उनकी होती जो धन के अभाव में जीने की आस छोड़ चुके होते। गरीब परिवारों की जमीन व जायदाद बिकने से भी वह बचाते थे।
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