कमजोर इच्छाशक्ति
सपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि योगी सरकार का विधानसभा में पेश बजट जनता की आशाओं और आकांक्षाओं के साथ छलावा है। इस बजट से प्रदेश का विकास और यहां की करीब 22 करोड़ जनता का हित और कल्याण संभव नहीं है। उन्होंने कहा, यही बुरा हाल इनके (योगी सरकार) पिछले तीन बजटों का भी रहा है, जो जनहित एवं जनकल्याण के मामले में बीजेपी की कमजोर इच्छाशक्ति का परिणाम है। बजट में किसान, युवा, मजदूर, दलित सहित अल्पसंख्यकों के लिए कोई जमीनी योजना नहीं है।
अन्ना मवेशियों के लिए क्या योजना
नरेश उत्तम ने कहा कि पिछले तीन सालों से अन्ना मवेशी किसानों की फसलों को बर्बाद कर रहे हैं। सरकार ने गोशालाओं के निर्माण की बात पिछले बजट में करने के साथ ही किसानों को फसल बर्बादी पर मुआवजे को कहा था। लेकिन एक भी वादा आज तक नहीं पूरा हुआ। अन्ना मवेशियों ने बुंदेलखंड के साथ ही अन्य जिलों के किसानों की कमर तोड़ कर रख दी। योगी की सरकार में किसानों के आत्महत्या के मामले बढ़े हैं। किसान कर्ज के बोझ के साथ दबा है और उसके विकास के लिए अभी तक इस सरकार ने कुछ नहीं किया।
स्मार्ट सिटी छलावा
सपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि पिछले बजट में कानपुर के अलावा कई अन्य शहरों को स्मार्ट बनाए जाने के लिए धन आवंटित किया गया। कानपुर की हालत देखकर नहीं लगता कि यहां विकास कार्य हुए। शहर की नाजियां बजबाजा रहीं। गड्ढुयुक्त सड़कों में गिरकर लोग घायल तो कईयों की मौत हो चुकी है। शहर की आधी आाबदी स्वच्छ पेयजल को तरस रही है। जहां जलकल ने पेयजल की व्यवस्था कि है वहां-वहां नलों की टोटियों से सीवेज निकल रहा। शहर की अधिकतर पानी की टंकियां शोपीस बनकर रह गई हैं। जनपद में दर्जनों गांव ऐसे हैं जहां आज भी ग्रामीण खुले में शौंच कर रहे हैं।
एक भी फैक्ट्री नहीं लगी
सपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि वह कानपुर के साउथ में रहते हैं। घर के आसपास सड़क ही नहीं। इसके अलावा कभी कानपुर को मैनचेस्टर आफ इस्ट कहा जाता था। मुझे याद है कि 2014 लोकसभा चुनाव के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोगों से वादा किया था कि भाजपा की सरकार बनीं तो यहां की बंद मिलें चालू कराई जाएंगे। 2017 से पहले भी उन्होंने यही दोहराया। पर एक भी मिल व फैक्ट्री यहां पर नहीं चालू हुई। जबकि नोटबंदी के बाद 900 सौ से ज्यादा छोटी और बड़ी फैक्ट्रियांें में ताले पड़ गए। टेनरी उद्योग पूरी तरह से बर्बाद हो गया।
इस वजह से बताया खोखला
सपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि मंगलवार को पेश बजट में जो भी बड़े-बड़े दावे और वादे किए गए हैं, वे पिछले अनुभवों के आधार पर काफी खोखले और कागजी ही ज्यादा लगते हैं। कहा, अब तक चार बजट पेश कर चुकी योगी सरकार ने कितनी बार किसानों की आय दोगुनी करने के दावे हुए हैं लेकिन एक परसेंट भी किसान की आय नहीं बढ़ी है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में गोली और बोली का परसेप्शन बन गया है। कहा कि सरकार का प्रिय कार्य गंगा की सफाई है लेकिन हकीकत में कितनी सफाई हुई है, यह जमीन पर दिख रहा है। ना गंगा साफ हुई है ना यमुना। सपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा िकइस सरकार की नियत साफ नहीं इसी वजह से जमीन पर सारे दावे फेल नजर आ रहे हैं।