मिनी मु?बई के नाम से प्रसिद्व है भीनमाल, संक्रमण के वाहक हो सकते है प्रवासी
भीनमाल। मिनी मु?बई के नाम से मशहुर भीनमाल शहर व ग्रामीण क्षेत्र इन दिनों कोरोना के संक्रमण शहरों से पहुंचने वाले प्रवासियों के कारण डेंजर जोन में है। ?ाीनमाल शहर व ग्रामीण क्षेत्र से बड़ी सं?या में युवा महाराष्ट्र, गुजरात व दक्षिण भारत के शहरोंं में व्यवसायरत है। कोरोना वायरस की वैश्विक महामारी के चलते बड़ी सं?या में प्रवासी यहां पहुंच रहे हैं। हालांकि प्रशासन की ओर से पिछले 16 मार्च के बाद से यहां बसने वाले लोगों का डोर-टू-डोर सत्यापन किया जा रहा है। लेकिन इसके बाद भी बड़ी सं?या में संक्रमित क्षेत्र से प्रवासी लोगों के यहां आने से मारवाड़ क्षेत्र भी इस महामारी की चपेट में आने का अंदेशा है। इस बात को पुलिस व प्रशासन भी दबे शब्दों में स्वीकार कर रहा है। पूरे प्रदेश में लॉक डाउन के बाद राज्यों की सीमाएं भी सीज है, लेकिन इसके बाद भी चोरी-चुपके प्रवासी गांव-ढाणियों में पहुंच रहे है। पुलिस व प्रशासन की ओर से निजी वाहनों को भी रूकवाकर सघन चैकिंग व पाबंद किया जा रहा है। 4 दिनों से सड़कों पर मिल रहे बाहरी राज्यों के वाहन भीनमाल क्षेत्र के हर गांव-ढाणी से युवा मुंबई, पुणे बेंगलुरु, चेन्नई, दिल्ली, अहमदाबाद, सूरत में व्यवसाय व नौकरी के लिए निवासरत है। 20 मार्च के बाद से शहर व ग्रामीण क्षेत्र में सड़कों पर महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु व गुजरात के वाहन नजर आ रहे है। कोरोना वायरस को लेकर जितनी स?ती जिला मु?यालय पर नहीं बरती जा रही है उससे ज्यादा स?ती भीनमाल व सांचौर क्षेत्र में बरती जा रही है, क्योंकि यहां के प्रवासी भारत ही नहीं विदेश में भी व्यवसाय व अध्ययन कर रहे है। सर्वे में आया हर गांव-ढाणी पहुंचे प्रवासी प्रशासन की ओर से हॉल ही में करवाएं जा रहे सर्वे में यह बात सामने आई है कि क्षेत्र के प्रत्येक गांव-ढाणी से एक से अधिक लोग इन शहरों से जुड़े हुए हैं। भीनमाल व बागोड़ा क्षेत्र में पिछले दिनों करीब 5 हजार प्रवासी गांव-ढाणी पहुंचे। ऐसे में भीनमाल क्षेत्र इस दौर में कोरोना को लेकर डेंजर जोन बना हुआ है। अभी भी पहुंच रहे है चोरी-चुपके क्षेत्र में अभी भी चोरी-चुपके प्रवासी लोगों के आने का क्रम जारी है। प्रवासी छोटे-छोटे गांव के रास्तों से निजी वाहनों के माध्यम यहां पहुंच रहे है। शहर से बाहर उनके परिजन उन्हें मोटरसाइकिल लेकर लेने के लिए पहुंच रहे है। शहर के बाहर 220 केवी जीएसएस व क्षेंमकरी माता मंदिर रोड़ से वाहन शहर में पहुंच रहे है। राजस्थान पत्रिका सरोकार प्रवासियों ने हमेशा मारवाड़ के लिए दानशीलता, दयाभाव, मानवता व मिट्टी से जुडाव की प्रवृति दिखाई है। ऐसे में राजस्थान पत्रिका प्रवासियों से उ?मीद करता है कि वे खूद स्वास्थ्य की जांच करवाकर मानवता का परिचय देगें। गांव-ढाणी पहुंचने पर चिकित्सा विभाग को सूचित करें। यदि कही कोई शंका-आशंका नजर आए तो पूरा इलाज लेंकर खूद को घर में सुरक्षित रखें। स?ती के बावजूद पहुंच रहे है पुलिस व प्रशासन की ओर से शहर के प्रमुख रास्तों को सीज किया हुआ है। लगातार गश्त भी कर रहे है। स?ती के बाद भी प्रवासी चोरी-चुपके पहुंच रहे है। बोर्डर पर चैकिंग के बाद ही प्रवेश दे रहे है। प्रवासी खूद पुलिस व प्रशासन को इसकी जानकारी दें। लाभूराम चौधरी, डीएसपी-भीनमाल