गुप्ता ने कहा कि लेबर प्रॉब्लम के कारण हालांकि कारखानों में उत्पादन अभी पूरी तरह से शुरू नहीं हो पाया है। मगर फिर भी उत्पादन को रफ्तार मिलने लगी है। उन्होंने कहा कि कोरोना के बढ़ते प्रसार को देखते हुए लोहे की बिक्री में कितना सुधार हो पाएगा, यह कहना फिलहाल मुश्किल है। इक्रा की एक रिपोर्ट के अनुसार अप्रैल में घरेलू मांग में 87 फीसदी की कमी आई थी, जबकि महीने के दौरान उत्पादित कुल तैयार इस्पात के प्रतिशत के रूप में निर्यात 28 फीसदी की रिकॉर्ड ऊंचाई तक पहुंच गया।