यमन: स्कूल बस पर किए गए हमले में अमरीकी बम का इस्तेमाल

बताया जा रहा है कि यह बम उस बम के समान था जिसने अक्टूबर 2016 में यमन में एक हाल पर हमले में भारी तबाही मचाई थी।

<p>यमन: स्कूल बस पर किए गए हमले में अमरीकी बम का इस्तेमाल</p>
वाशिंगटन। सऊदी अरब के नेतृत्व वाली गठबंधन सेना द्वारा एक 9 अगस्त को स्कूल बस पर किए गए हमले में इस्तेमाल किए गए बम की सप्लाई अमरीका से हुई थी। यह बम अमरीकी विदेश विभाग द्वारा स्वीकृत हथियारों के सौदे के तहत बेचा गया था। एक अमरीकी मीडिया हाउस द्वारा यह जानकारी लीक होने के बाद दुनिया भर के रक्षा विशेषज्ञों में हड़कंप मच गया है।9 अगस्त को इस हमले में 40 बच्चे और 11 अन्य मारे गए थे।
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हुआ बड़ा खुलासा

यमन के स्थानीय पत्रकारों और युद्ध सामग्री विशेषज्ञों के साथ बातचीत में एक अमरीकी चैनल ने दवा किया है कि नौ अगस्त को हुए हमले में 227 किलो के लेजर एमके 82 बम का इस्तेमाल किया गया था। इस हमले में दर्जनों बच्चों की मौत हो गई थी। यह बम अमरीकी हथियार सौदागर लॉकहीड मार्टिन द्वारा निर्मित किया गया था। बताया जा रहा है कि यह बम उस बम के समान था जिसने अक्टूबर 2016 में यमन में एक हाल पर हमले में भारी तबाही मचाई थी। बता दें कि इस हमले में 155 लोग मारे गए थे और सैकड़ों घायल हुए थे।
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बराक ओबामा ने लगाई थी रोक

पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने 2016 की दुर्घटना के बाद सऊदी अरब को इस बम को बेचने पर रोक लगा दी थी। वर्तमान राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने 2017 में कार्यभार संभालने के बाद इस फैसले को पलटते हुए प्रतिबंध हटा लिया था। रेडक्रॉस की अंतरराष्ट्रीय समिति के अनुसार सादा प्रांत में 9 अगस्त को हुए हमले में घायल 79 लोगों में 56 बच्चे भी शामिल हैं।
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राहतकर्मियों ने कहा है कि यमन में सउदी अरब नीत हवाई हमलों, शिया विद्रोहियों और राष्ट्रपति के वफादार सैनिकों के बीच लड़ाई में दर्जनों बच्चों सहित कम से कम 560 लोग मारे जा चुके हैं और वहां दवाओं की आपूर्ति को मंजूरी नहीं मिलने से मानवीय संकट उत्पन्न हो सकता है।
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