GST Council Meet: Late fees पर करोड़ों कारोबारियों को मिल सकती है राहत

कोरोना काल में नुकसान होने के कारण कारोबारियों की शुल्क माफ करने की है मांग
Central Govt ने दिया आश्वासन, Council में होगी राज्यों के मंत्रियों के साथ चर्चा

<p>GST Council Meet: Crores of traders can get relief on late fees</p>

नई दिल्ली। जीएसटी परिषद ( GST Council Meet ) इस महीने होने वाली अपनी अगली बैठक में जीएसटी रिटर्न फाइल ( GST Return File ) करने में हुए विलंब के लिए लगने वाले विलंब शुल्क के मुद्दे पर चर्चा करने को सहमत हो गई है। इससे कोविड-19 महामारी ( Covid 19 ) के कारण प्रभावित हुए कारोबार को थोड़ी राहत मिल सकती है। कारोबारियों ने अगस्त 2017 (जीएसटी की शुरुआत) और जनवरी 2020 के बीच की अवधि के लिए फाइल किए गए जीएसटी रिटर्न पर विलंब शुल्क ( Late Fees On GST Return ) का भुगतान माफ करने की मांग की है। उन्होंने कहा है कि मौजूदा कारोबारी वातावण, जहां ज्यादातर व्यापार में धन का नुकसान हो रहा है और कर भुगतान के लिए भी पर्याप्त संसाधन नहीं हैं, इसे देखते हुए इस पर विचार करना महत्वपूर्ण है।

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कारोबारियों की मांग
इसपर गौर किया जा सकता है कि कोविड-19 के मौजूदा हालात में पांच करोड़ रुपए से कम के कारोबार वाले छोटे बिजनेस को मदद करने के लिए वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने फरवरी, मार्च, अप्रैल और मई 2020 के जीएसटी रिटर्न को जून 2020 तक विस्तारित करने की पहले ही घोषणा कर रखी है। इस अवधि के लिए कोई विलंब शुल्क नहीं लिया जाएगा। कारोबारियों के अनुसार जीएसटी रिटर्न फाइल करने की अवधि का विस्तार स्वागतयोग्य है, लेकिन गंभीर तरलता संकट का सामना कर रहे कारोबारियों की मदद के लिए अतीत के विलंब के लिए विलंब शुल्क को भी सरकार को माफ कर देना चाहिए।

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ताकि कारोबारी समय पर करें रिटर्न फाइल
वित्त मंत्रालय से मिली जानकारी के अनुसार विलंब शुल्क यह सुनिश्चित करने के लिए लगाया जाता है कि करदाता समय पर रिटर्न (जीएसटीआर 3बी) फाइल करें और खरीददारों से प्राप्त धनराशि पर सरकार का बनने वाले कर का भुगतान करें। यह इस बात को भी सुनिश्चित करने का एक कदम है कि अनुपालना के संबंध में एक खास अनुशासन बना रहे।

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काउंसिल में होगी चर्चा
मंत्रालय सूत्रों की मानें तो जीएसटी में सभी निर्णय केंद्र और राज्यों द्वारा जीएसटी परिषद की मंजूरी से लिए जाते हैं। यह संभव नहीं है कि केंद्र सरकार इस मुद्दे पर एकतरफा निर्णय ले ले और इसलिए कारोबारियों को सूचित कर दिया गया है कि जीएसटी परिषद की अगली बैठक में विलंब शुल्क के मुद्दे पर चर्चा की जाएगी। जीएसटी परिषपद की बैठक कोरोनावायरस को रोकने के लिए लागू राष्ट्रव्यापाी लॉकडाउन के बाद पहली बार होने जा रही है। लॉकडाउन के कारण राज्य सरकारों का जीएसटी राजस्व बुरी तरह प्रभावित हुआ है। कई राज्य सरकारें के अप्रैल के जीएसटी संग्रह में 80-90 फीसदी तक गिरावट आई है।

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