इसके साथ ही उसे पूरी बात बतानी चाहिए। कोई नशा करते हैं, कभी कोई बीमारी रही, ऑपरेशन हुआ हो या किसी तरह की एलर्जी या फोबिया है तो जरूर बताएं। पुरानी बीमारी संबंधी जांच रिपोर्ट है तो वह भी दिखाएं। रोगी डॉक्टर से कुछ बातों को छुपा लेते हैं जिसकी वजह से प्रोसीजर या इलाज के दौरान रोगी को बड़ी परेशानी से गुजरना पड़ सकता है। ऐसे में रोगी से सभी तरह की जानकारी डॉक्टरों को देने की उम्मीद की जाती है। यह डायग्नोसिस से लेकर सटीक इलाज में मददगार होती है।