Renault Zoe: भारत में लॉन्च हो सकती है कंपनी की बेस्ट सेलर EV

R135 इलेक्ट्रिक मोटर से चलने वाली इस कार की रेंज 395 किलोमीटर।
तमिलनाडु में अस्थायी नंबर प्लेट के साथ दिखी कार सोशल मीडिया पर।
Renault की इलेक्ट्रिक बेस्टसेलर Zoe ( Renault Zoe ) भारत में आई नजर।

<p>Is Renault Zoe launching in India? Company&#8217;s electric bestseller spotted</p>
नई दिल्ली। यूरोप में फ्रांसीसी ऑटो की सबसे लोकप्रिय इलेक्ट्रिक कार रेनॉ ज़ो ईवी ( Renault Zoe EV ) को भारतीय सड़कों पर टेस्टिंग के दौरान देखा गया है। तमिलनाडु की टेंपरेरी लाइसेंस प्लेट के साथ रेनॉ ज़ो इलेक्ट्रिक हैचबैक की तस्वीरें सोशल मीडिया पर शेयर की गईं है और इससे अटकलें लगाई जा रही हैं कि कार निर्माता जल्द ही इसे भारत में लॉन्च कर सकते हैं।
कार चलाते हैं तो ध्यान रखें काम की ये 7 बातें, हमेशा रहेगी हैप्पी जर्नी

वर्तमान में Renault की भारत में तीन कारें हैं। इनमें Kwid हैचबैक, Triber MPV और Duster SUV शामिल हैं। कंपनी ने हाल ही में कैप्चर (Captur) को बंद कर दिया है, जो यूरोपीय बाजारों में एक लोकप्रिय क्रॉसओवर है। ज़ो के अलावा ट्विज़ी, कांगू और मास्टर के साथ अपने पोर्टफोलियो में कई इलेक्ट्रिक वाहन होने के बावजूद रेनॉ ने भारत में अभी तक एक भी ईवी को नहीं उतारा है। भारत में अभी भी इलेक्ट्रिक कारें मुख्यधारा में आने से काफी दूर हैं।
Renault Zoe का हाल ही में एक मिडलाइफ अपग्रेड हुआ था और WLTP टेस्ट साइकिल में इस कार की सीमा 395 किलोमीटर तक की है। इस कार में लगी 52 kWh की क्षमता वाली नई ZE 50 लिथियम-आयन बैटरी इस लंबी रेंज के लिए वो आधार बनाती है जो इसे इतनी दूरी तक चलने में ताकत प्रदान करती है।
नहीं हटेंगी नजरें, Hyundai ने दिखाई आने वाली 2020 i20 की झलक

नई R135 इलेक्ट्रिक मोटर को पूरी तरह से कंपनी द्वारा इन-हाउस में विकसित किया गया था, इस कार को अधिकतम 135 PS की पावर और 245 NM टॉर्क का आउटपुट प्रदान करती है।
ज़ो में बी-मोड ड्राइविंग प्रोग्राम है जो पहली बार सिंगल-पेडल ड्राइविंग को सक्षम बनाता है। ब्रेक को लागू करने की बजाय ज्यादातर मामलों में फिर से पावर मिलने में होने वाली यह देरी पर्याप्त है। इस दौरान ज़ो की इलेक्ट्रिक मोटर एक जनरेटर की तरह काम करती है जो बैटरी में बिजली को भेजती है। इसलिए बी-मोड का लगातार इस्तेमाल रेंज का फायदा पहुंचाता लाता है। बी-मोड पहले से ही स्टैंडर्ड एक्विपमेंट का हिस्सा है और 7 किमी प्रति घंटे की ड्राइविंग गति से एक्टिव है।
राजधानी के बिगड़ते हालात, दिल्ली में लगातार चौथे दिन AQI बहुत खराब

इलेक्ट्रॉनिक पार्किंग ब्रेक के सप्लीमेंट के रूप में नई ज़ो में स्टैंडर्ड के रूप में ऑटो-होल्ड फ़ंक्शन के साथ हिल स्टार्ट भी दिया गया है। यह फीचर्स कार को स्थिर होने पर चालक को अपने पैर को ब्रेक से हटाने की अनुमति देता है और ज़ो को ऊंचाई या नीचे के ढलानों में स्थिर रहने में मदद करता है।

अमित कुमार बाजपेयी

पत्रकारिता में एक दशक से ज्यादा का अनुभव. ऑनलाइन और ऑफलाइन कारोबार, गैज़ेट वर्ल्ड, डिजिटल टेक्नोलॉजी, ऑटोमोबाइल, एजुकेशन पर पैनी नज़र रखते हैं. ग्रेटर नोएडा में हुई फार्मूला वन रेसिंग को लगातार दो साल कवर किया. एक्सपो मार्ट की शुरुआत से लेकर वहां होने वाली अंतरराष्ट्रीय प्रदर्शनियों-संगोष्ठियों की रिपोर्टिंग.

Copyright © 2024 Patrika Group. All Rights Reserved.