वहीं मौसम (Weather) खराब होने के कारण बूंदाबांदी हो सकती है। इधर ठंड की दस्तक के साथ बाजार में गर्म कपड़ों की मांग भी बढ़ गई है। बाजारों मे ऊनी स्वेटर व जैकेट खूब बिक रहे हैं।
निवार तूफान के कारण मौसम में आए बदलाव का असर स्वास्थ्य (Health) पर भी देखा जाने लगा है। ओपीडी में खांसी-सर्दी व बुखार से पीडि़त मरीजों की संख्या काफी बढ़ी है। आने वाले दो दिनों में बादल छटते ही सरगुजा जिले में कड़ाके की ठंड पडऩे का अनुमान मौसम विभाग लगा रहा है।
ऐसे में पारा तेजी से लुढक़ेगा और ठंड बढ़ेगी। मौसम विभाग (Weather department) के वैज्ञानिकों के अनुसार एक सप्ताह पूर्व बंगाल की खाड़ी में चक्रवात होने की वजह से बादल छाया हुआ था। वही बादल छटते की तापमान में तेजी से गिरावट आई थी। 24 नवंबर को अंबिकापुर नगर का पारा लुढक़ कर 8.6 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया था।
एक बार फिर निवार तूफान (Nivar storm) का असर गुरुवार को उत्तरी छत्तीसगढ़ में देखने को मिला। दिन भर आसमान में बादल छाए रहे। मौसम विभाग के वैज्ञानिकों का कहना है कि आने वाले 2 दिनों में एक बार फिर पारा तेजी से लुढक़ेगा।
2 दिनों में पड़ेगी कड़ाके की ठंड
दरअसल निवार चक्रवात (Nivar cyclone) कमजोर पडऩे लगा है। मौसम विज्ञानियों का अनुमान है कि 27 नवंबर के बाद बादल छंटने की वजह से ड्राई वेदर शुरू हो जाएगा। वहीं राजस्थान में पड़ रहे शीतलहर (Cold wave) का प्रभाव उत्तरी छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में भी देखने को मिलेगा। आने वाले 2 दिनों में कड़ाके की ठंड पडऩा सरगुजा जिले में शुरू हो जाएगी।