इस भूमि अधिग्रहण में किसानों को उचित मुआवजा देने की मांग में दाखिल याचिका पर मई के अंतिम सप्ताह में कोर्ट ने राज्य सरकार से जवाब मांगा था। याचिका पर अगली सुनवाई के लिए पांच अगस्त की तारीख लगी है। अजय प्रताप सिंह ने बताया कि यमुना एक्सप्रेस वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण व राज्य सरकार किसानों के साथ अन्याय कर रही है। उनका कहना है कि उनके गांवों को शहरी क्षेत्र में शामिल कर लिया गया लेकिन जमीन का मुआवजा ग्रामीण क्षेत्र के आधार पर 1806 रुपये प्रति वर्गमीटर की दर से दिया जा रहा है। जबकि शहरी क्षेत्र में सर्किल रेट 3650 से लेकर 5200 रुपये प्रति वर्गमीटर तक है। उन्होंने बताया कि हवाई अड्डे के लिए भूमि अधिग्रहण के पहले चरण में छह गावों के नौ हजार किसान प्रभावित हो रहे हैं। उनका कहना है कि उन्हें कम से कम 3650 रुपये प्रति वर्गमीटर की दर से मुआवजा मिलना चाहिए।
BY- Court Corrospondence