21वीं सदी के 19 वें साल का पहला कुंभ
21वीं सदी के 19 वें साल का पहला कुंभ पहले से ज्यादा हाईटेक हो चला है। तमाम हाईटेक व्यवस्थाओ के साथ 2019 का कुंभ स्मार्टफोन और हाईटेक टेक्नोलॉजी का पहला कुंभ बनता जा रहा है। तमाम परंपराओंए विवधताओं और पौराणिकताओ को समेटे सबसे पहले आखड़ों संस्थाओं और अब कल्पवासियों का आना शुरू हो गया हैं। अगर हम कुछ साल पहले हरिद्वार और उज्जैन में लगे कुंभ की तुलना करें तो यह कुंभ सबसे हाईटेक कुंभ बन गया है। हालांकि स्मार्टफोन उस समय भी प्रचलित थे लेकिन इतना व्यापक स्वरूप में प्रचार.प्रसार में नहीं था। लेकिन संगम की रेती पर यह टेक्नोलॉजी का रोमांच कुछ अलग आभा दे रहा है।यही वजह है कि संगम तट पर आने वाला हर श्रद्धालु आस्था की डुबकी के साथ स्मार्ट तरीके से टेक्नोलॉजी के जरिये रोमांचक यादें सहेज कर रख रहा है। स्मार्टफोन नई पीढ़ी के लिए एक नायाब तोहफे की तरह हैं जो तत्काल अपनी तस्वीरों के साथ साथ कुंभ की भव्यता दुनिया के कोने- कोने तक पहुँच रही है।
अपने समय का अद्भुत सच हो रहा है दर्ज
कुंभ मेले को बारीकी से परख रहे वरिष्ठ पत्रकार और लेखक डॉ धनंजय चोपड़ा ने पत्रिका से बात करते हुए कहा कि शायद यह पहला कुंभ है जिसमें हजारों कैमरे अपने समय के अद्भुत सच को दर्ज कर रहे हैं । सच तो यह भी है कि यह केवल दर्ज ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया के समक्ष अपनेण्अपने ढंग से परोस भी रहे है। कुछ लोग उसे सोशल मीडिया पर शेयर कर रहे हैं ।तो कुछ इसे तुरंत अपने रिश्तेदारों के पास भेज कर संगम की भव्यता दिखा।
कुंभ दुनिया के सबसे बड़े धार्मिक जन जमघट का स्थल
संगम की रेती पर लगने वाला कुंभ मेला दुनिया के सबसे बड़े धार्मिक जन जमघट का स्थल है। यह धार्मिक सामाजिक राजनीतिक और बाजार की सत्ता को अपनी ओर आकर्षित कर रहा है। यहां सब बिना निमंत्रण के भागे चले जाते हैं। तमाम दुश्वारियां तकलीफें कठिनाइयों के बावजूद संगम के तट पर डुबकी लगाने वालों की संख्या कभी कम नही हुई। देश हीं नही दुनिया की मीडिया अस्थाई शहर को रोमांचक तरीके से देखने के लिए पहुंच रही है।