राजनितिक दलों की साख से जुडी है जीत हार
बता दें कि विश्वविद्यालय मे अध्यक्ष उपाध्यक्ष महामंत्री सहित सात पदों के लिए 53 उम्मीदवार मैदान में है। राजनीतिक दलों के छात्र संगठन अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद एसमाजवादी छात्र सभाए एनएसयूआई और आईसा अपने उम्मीदवारों के साथ जी तोड़ मेहनत कर रही है। समाजवादी छात्र सभा जहां एक बार फिर अपना जीत दर्ज करके युवाओं में अखिलेश यादव की पैठ साबित करना चाहती है। तो वहीं अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद भगवा परचम लहरा कर प्रदेश और केंद्र की सरकार की नीतियों पर मुहर लगाने में जुटी है। कांग्रेस की छात्र इकाई एनएसयूआई उपाध्यक्ष पद पर दावेदारी कर रही हैएऔर काटे की टक्कर दे रही अगर यह एक पद एनएसयूआई के खाते में जाता है तो यह बड़ी जीत होगी। कैम्पस में लेफ्ट दलों का छात्र संगठन आईसा केंद्र सरकार की नीतियों के विरोध में साल भर आंदोलित रही अब आंदोलनों के भरोसे छात्रसंघ पर अपनी विजय पताका फहराने में जुटी हैं।
एबीवीपी पर भगवा फहराने का दबाव
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद 2016 .17 में मिली जीत को दोहराना चाहती है। केंद्र में मोदी और प्रदेश में योगी की सरकार हैए अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद पर भगवा फहराने का भारी दबाव है।वही 2017.18 के छात्र संघ चुनाव में समाजवादी छात्र सभा के अवनीश यादव अध्यक्ष एसहित चार पदों जीत हासिल की थी। जबकि अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद को महामंत्री पद पर संतोष करना पड़ा था। सपा के पैनल के लिए पार्टी के नेताओं सहित दर्जन भर पूर्व अध्यक्ष मैदान में है।तो वही एबीवीपी के समर्थन में भी पुराने दिग्ज्जो ने आखिरी समय में दरवाजे खोल दिए है।
जातिगत मुद्दे पलट सकते है परिणाम
कैंपस के चुनाव में इस बार जातिवादी मुद्दे हावी दिख रहे हैं।अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के पैनल से किसी ब्राह्मण उम्मीदवार को प्रत्याशी ना बनाने को लेकर ब्राह्मण मठाधीश और मतदाता नाराज है। और माना जा रहा है अगर ब्राहमण मतदाता नाराज हुआ तो भगवा खेमा डगमगा जाएगा। वहीं समाजवादी छात्र सभा में दो प्रमुख पदों पर फिर से एक ही जाति के उम्मीदवारों को प्रत्याशी बनाकर छात्र सभा भी नाराजगी का शिकार हुई है। जिसके डैमज कण्ट्रोल के लिए सपा ने भारी भरकम नेताओं की फ़ौज उतार दी है। इन सबके बीच अध्यक्ष और उपाध्यक्ष पद पर निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर उम्मीदवार भी चमत्कार कर सकते हैं ।अब देखना यह होगा कि कल मतदाता पूर्व के एक्सपोर्ट का अध्यक्ष उपाध्यक्ष महामंत्री किसे चुनता है।
9031 मतदाता करेंगे भाग्य का फैसला
विश्वविद्यालय चुनाव अधिकारी आरके उपाध्याय ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि मतदान शुक्रवार को 8 बजे से दोपहर 2 बजे तक होगा । महिला छात्रावास और डेलीगेसी की छात्राओं के लिए महिला कॉलेज परिसर में मतदान बूथ बनाए गए हैं।वहीं छात्रों के लिए सीनेट हॉल परिसर में मतदान केंद्र बनाये गये हैं ।सीनेट हॉल परिसर में कुल 14 मतदान केंद्रों पर 29 बूथ बनाए गए हैं, जिन पर 13454 छात्र अपना मतदान देंगे।वहीं महिला कॉलेज परिसर में 6 मतदान केंद्रों पर 15 बूथ बनाए गए जिस पर 5577 छात्राएं अपना मतदान करेंगे। कैंपस में कुल 19031 मतदाता है।
पहली बार नोटा का विकल्प
छात्र संघ चुनाव में पहली बार नोटा का विकल्प दिया जा रहा है।चुनाव बैलेट पेपर से होगा।मतदान के लिए प्रत्याशियों के नाम के आगे काले पेन से चिन्हित कर अपना मत देना होगा। सभी बूथों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जा रहे हैं। साथ ही कैंपस के आस -पास सीसीटीवी कैमरे और वीडियो रिकॉर्डिंग की भी व्यवस्था की गई है।चुनाव अधिकारी के अनुसार 2 बजे मतदान समाप्त होने के बाद शाम 5 बजे से मतगणना की प्रक्रिया शुरू होगी। और रात 12 बजे तक परिणाम घोषित किए जाएंगे।इस दौरान अध्यक्ष पद के सभी उम्मीदवारों को मतगणना स्थल पर आने की अनुमति होगी ।