दरअसल, श्रम मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ जानलेवा हमले का मुकदमा रायबरेली जिले के डलमऊ थाने में दर्ज किया गया है। शनिवार को श्रम मंत्री के वकील ने कोर्ट में हाजिर होकर निवेदन किया कि कठोर कार्रवाई नहीं की जाए। विशेष कोर्ट के न्यायाधीश पवन कुमार तिवारी ने मामले की सुनवाई करते हुए यह चेतावनी दी कि यदि मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य 27 नवंबर को हाजिर नहीं हुए तो गैर जमानती वारंट के साथ कुर्की की कार्रवाई की जाएगी।
वहीं दूसरी ओर कुशीनगर जिले के पड़रौना थाने में दर्ज आचार सहिंता उल्लंघन के मुकदमे में कोर्ट ने वारंट जारी कर दिया गया है। मामले की अगली सुनवाई 27 नवंबर को होगी. हमले और आचार संहिता के मुकदमों को लेकर कोर्ट ने लगातार सुनवाई करते हुए कई बार चेतवानी दी। दोनों मुकदमों की सुनवाई एमपी-एमएलए कोर्ट में हुई, लेकिन सुनवाई के दौरान मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य कोर्ट में उपस्थित नहीं हुए। इसी पर विशेष कोर्ट न्यायधीश पवन कुमार तिवारी ने चेतवानी देते हुए वारंट जारी कर दिया।