नोटों व फूलों से सजाया मंदिरों को पर्व को लेकर नगर के श्रीरणछोडऱायजी मंदिर, शेषषायी आचार्य मंदिर सहित अनेक मंदिरों में भगवान श्री भगवान कृष्ण का आकर्षक शृंगार किया गया था तथा अनेक मंदिरों में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की झांकियां भी बनाई गई, जिन्हें सैकड़ों भक्तगणों ने निहारा। समिति की ओर से प्रात: समय में भगवान का विशिष्ट पूजन किया गया। पर्व पर सुबह से ही मंदिरों में भक्तगणों की भीड़ उमडऩा प्रारंभ हो गई थी, जिन्होंने भगवान के दर्शन-पूजन कर धर्म लाभ लिया। पर्व को लेकर सभी मंदिरों पर आकर्षक विद्युत साज-सज्जा भी की गई। इस दौरान मंदिरो में सुबह दूध, केसर व पंचामृत से भगवान श्रीकृष्ण का अभिषेक किया गया। वहीं श्री लक्ष्मी नृसिंह मंदिर परिसर को 100, 50, 20, 10 व 5 रूपए के नोटों से सजाया गया। वहीं श्री रणछोडऱायजी मंदिर व श्री शेषशायी आचार्य मंदिर को फूल बंगले की तरह सजाया गया। जहां पर भगवान का श्रंगार गिरीराज नमकीन भंडार के गुडडू भाई, फुल बंगला राठौड़ समाज और प्रसादी की सेवा कृष्णा राठौड़ की और से की गई। गोपाल मंदिर का फूल-पत्तो से आकर्षक श्रृगांर किया गया। प्रमुख स्थानों पर हुआ मटकी फोड़ आयोजनजन्माष्टमी पर्व को लेकर नगर मे इस बार केवल दो ही स्थानों पर मटकी का आयोजन किया गया। बस स्टेंड पर ***** युवा समिति व बस स्टैंड व्यापारी संघ के द्वारा मटकी बांधी गई। वहीं बहारपुरा रामदेव मंदिर चौराहे पर बहारपुरा मित्र मंडल के द्वारा मटकी बांधी गई। वही इस बार रणछोड राय मंदिर प्रांगण मे मटकी फोड का आयोजन नही किया गया। नवरंग फ्रेंड सर्कल के संजय बिश्या ने बताया कि इस बार समिति ने मटकी नही बांधाने का निर्णय लिया है। जन्माष्टमी पर्व पर अनेक लोगों ने उपवास एकासने आदि रखकर भगवान श्रीकृष्ण को प्रसन्न करने का प्रयास किया। अंचल में प्रचलित मान्यताओं के अनुसार इस दिन उपवास आदि रखने से कन्हैया प्रसन्न होते है तथा मनवांछित कामनाएं पूरी करते हैं, इसी मान्यता के चलते ही अनेक लोगों ने उपवास कर अपनी मनोकामना पूर्ण करने की प्रार्थना की। अनेक लोगों द्वारा उपवास किए जाने की वजह से नगर की अनेक दुकानों पर फलाहारी खिचड़ी व राजगारे के गोटे विशेष तौर पर बनाए गए थे, जिनका लोगों ने दही की कड़ी के साथ लुत्फ उठाया। [typography_font:14pt;” >आलीराजपुर. जिला मुख्यालय सहित जिले में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का पर्व धूमधाम से मनाया गया। नगर के श्री रणछोडऱायजी मंदिर, शेषशायी आचार्य मंदिर, श्री लक्ष्मी नृसिंह मंदिर, गोपाल मंदिर, श्रीराम मंदिर, रामदेवजी मंदिर सहित अनेक मंदिरों में भगवान श्री कृष्ण का आकर्षक श्रृगांर कर मंदिरों की आकर्षक सजावट की गई। यहां बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने भगवान के दर्शन-पूजन किए। जन्माष्टमी पर्व पर नगर के कई परिवारो में रक्षा बंधन पर्व मनाया जाता है। रात्रि 12 बजे नगर के सभी मंदिरों में भगवान की महाआरती उतार कर माखन व पंजेरी का वितरण किया गया। जन्माष्टमी पर नगर के अनेक मंदिरों में भजन-किर्तन का कार्यक्रम भी चलता रहा। पर्व को लेकर देर रात्रि तक नगर की सडक़ों पर चहल-पहल बनी रही। नगर अनेक स्थानों पर जन्माष्टमी पर माखन मटकी फोडऩे का कार्यक्रम आयोजित हुआ।प्रात: काल सांवरिया सेठ शाम को द्वारिकाधीशश्री रणछोडऱाय मंदिर में जन्माष्टमी के अवसर पर प्रात: काल केशर स्नान हुआ है। इसके बाद प्रात: प्रथम श्रृंगार सांवरिया सेठ की कर्ज पर किया गया है। इसके बाद शाम में पर्व का विशेष श्रंृगार द्वाराकाधीष भगवान की तर्ज पर हीरें जवाहरात से श्रृंगार का लाभ गुड्डु भाई नवाल (गिरिराज नमकीन) वस्त्र सेवा गुप्त दान तथा प्रसाद सेवा कृष्णा भाई राठौर बस द्वारा किया गया। इस अवसर पर रात्रि 8 बजे से भजन कीर्तन हुए। श्रद्धालुओं ने झूम-नाच कर जन्मोत्सव मनाया। इस अवसर पर राठौर समाज द्वारा पूरे मंदिर को गुब्बारे द्वारा सजाया गया।