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ताला प्राचार्य का तुगलकी फरमान, कॉलेज में सत्यापन न कर छात्रों को 35 किमी दूर बुला रहे घर

locationअगार मालवाPublished: Jun 16, 2019 11:41:21 pm

Submitted by:

Pushpendra pandey

कॉलेज प्राचार्य की मनमानी, संभागायुक्त कार्यालय पहुंचा छात्रों का असंतोष
 

tala college

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सतना. रीवा. उच्च शिक्षा विभाग का कालेज चलो अभियान और नि:शुल्क ऑनलाइन योजना छात्रों के लिए बेमानी है। जिम्मेदारों की मनमानी के चलते महाविद्यालयों में छात्र ऑनलाइन आवेदन करने के बाद सत्यापन के लिए पसीना बहा रहे हैं। हैरान करने वाली बात यह है कि कई दिन तक महाविद्यालयों के पासवर्ड नहीं मिले। इससे महाविद्यालयों में सत्यापन शुरू नहीं हो सका। दो दिन पहले जैसे-तैसे सत्यापन का काम चालू हुआ तो छात्रों को 40-50 किमी दूर बुलाया जा रहा है। प्राचार्यों की मनमानी का खुलासा छात्रों का असंतोष संभागायुक्त कार्यालय पहुंचने पर हुआ है।
महज 9 छात्रों ने किया ऑनलाइन आवेदन
सतना जिले के ताला में शैक्षणिक सत्र 2018-19 में नवीन शासकीय कला एवं विज्ञान महाविद्यालय प्रारंभ हुआ है। प्रारंभिक सत्र में 600 सीटों में महज 18 बच्चे पंजीकृत हुए। जबकि चालू सत्र वर्ष 2019-20 के लिए अभी तक महज 9 छात्रों ने ऑनलाइन आवेदन किया है। अब सत्यापन के लिए प्राभारी प्राचार्य डॉ आरबी त्रिपाठी छात्रों को अमरपाटन बुला रहे हैं। छात्रों ने संभागायुक्त कार्यालय को जानकारी देते हुए बताया कि ताला महाविद्यालय से अमरपाटन की दूरी 35 किमी से अधिक है। स्थानीय छात्रों को सत्यापन कराने के लिए दक्कत हो रही है। संभागायुक्त को दिए आवेदन के अनुसार चालू सत्र के लिए 10 जून से लेकर 16 तक आवेदन किया जाना है। जबकि सत्यापन का काम 11 से लेकर 17 तक होना है। लेकिन, प्रभारी प्राचार्य की मनमानी के चलते सत्यापन तीन दिन तक नहीं हो सका। जैसे-तैसे 14 जून से चालू हुआ। छात्र सत्यापन के लिए महाविद्यालय पहुंचे। महाविद्यालय में छात्रों को बताया गया कि सत्यापन के लिए अमरपाटन जाना होगा। छात्रों ने बताया कि अमरपाटन में ही प्राचार्य का घर है। इसलिए प्राचार्य महाविद्यालय आने की बजाय आवेदन सत्यापन के लिए छात्रों को अमरपाटन बुला रहे हैं। यह कहानी अकेले ताला महाविद्यालय की नहीं। बल्कि, सतना जिले के आधा दर्जन से अधिक महाविद्यालयों की है। छात्र ऑनलाइन आवेदन करने के बाद सत्यापन कराने के लिए पसीना बहा रहे हैं।

तीन दिन तक नहीं मिला पासवर्ड
ताला महाविद्यालय के प्रभारी प्राचार्य की मनमानी के चलते तीन दिन तक पासवर्ड गायब रहा। इससे 11 से लेकर 13 जून तक छात्रों के दस्तावेजों का सत्यापन नहीं हो सका। जैसे-तैसे 14 को सत्यापन का काम चालू हुआ पर प्राचार्य की मनमानी के चलते अब छात्रों को परेशान होना पड़ रहा है। उधर, शनिवार को भी सत्यापन करने के लिए महाविद्यालय पहुंचे अतिथि विद्वानों और छात्रों को बैरंग लौटना पड़ा।

आवंटित 600 सीट, आवेदन महज 9
जिम्मेदारों की अनदेखी के चलते महाविद्यालय ताला की व्यवस्था बेपटरी हो गई है। बीते शैक्षणिक सत्र 2018-19 में नवीन महाविद्यालय का शुभारंभ किया गया। प्रारंभ सत्र में 18 बच्चों ने प्रवेश लिया। जिम्मेदारों की मनमानी के चलते महाविद्यालय स्थापित होने के दूसरे शैक्षणिक सत्र में भी अभी तक महज 9 छात्रों ने ऑनलाइन पंजीयन कराया है। हालांकि समय होने के कारण पंजीयन की संख्या अभी बढ़ सकती है। पोर्टल के अनुसार 300 कला एवं 300 विज्ञान संकाय के लिए सीट आवंटित की गई हैं।
ऐसे दी सफाई
नवीन शासकीय महाविद्यालय कला एवं विज्ञान संकाय ताला के प्रभारी प्राचार्य डॉ. आरबी त्रिपाठी सफाई देते हुए कहते हैं कि पोर्टल नहीं खुलने केकारण अमरपाटन में नादन, ताला सहित चार महाविद्यालयों के छात्रों को सत्यापन के लिए बुलाया गया है। घर पर सत्यापन करने की बात गलत है। विरोधी लोग छात्रों को गुमराह करके शिकायत करा रहा रहे।

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