प्रधानमंत्री मुस्तफा मादौली ने संवाददाताओं को बताया कि बस ने अधिकारियों को सूचित किए बिना अपना निर्दिष्ट मार्ग छोड़ दिया था। हमले के दृश्य की तसवीरों में देखा जा सकता है कि कालिख में ढकी हुई एक छोटी सफेद बस में धमाका हुआ है। धमाके में बस की खिड़कियां चकनाचूर हो गईं और उसका एक हिस्सा उड़ गया। किसी भी उग्रवादी समूह ने तुरंत हमले की जिम्मेदारी नहीं ली, लेकिन शक की सुई इस्लामिक स्टेट की तरफ जा रही है। बता दें कि मिस्र का सिनाई 2013 से इस्लामिक स्टेट के आतंकियों से ग्रस्त है। सिनाई के आईएस आतंकियों ने अलग-अलग हमलों में मुख्य रूप से प्रायद्वीप में सुरक्षा बलों और मुख्य भूमि में ईसाई अल्पसंख्यक समुदाय को लक्षित किया है। बता दें कि इस आतंकवादी समूह ने अक्टूबर 2015 में सिनाई में एक रूसी एयरलाइनर को नीचे गिराने की जिम्मेदारी ली थी।
बता दें कि मिस्र में इन दिनों आतंकी गतिविधियां बढ़ रही हैं। पिछले महीने बंदूकधारियों ने काहिरा से लगभग 85 मील दक्षिण में दो बसों में आग लगा दी, जिससे सात तीर्थयात्री मारे गए थे। नवंबर 2017 में आतंकवादियों ने नमाज के दौरान मुस्लिम सूफियों को निशाना बनाया और कम से कम 311 लोगों की हत्या कर दी, जो मिस्र के आधुनिक इतिहास में सबसे घातक सांप्रदायिक रक्तपात था। इस हमले को देखते हुए सुरक्षा बलों ने नए साल की पूर्व संध्या पर ईसाई पूजा स्थलों के आसपास सुरक्षा कड़ी कर दी है। शुक्रवार को मिस्र की विश्व प्रसिद्ध गीजा पिरामिड से चार किमी (2.5 मील) दूरी पर बस में बम विस्फोट हुआ। बता दें कि मिस्र में एक वर्ष से अधिक समय से विदेशी पर्यटकों के खिलाफ यह पहला घातक हमला है और यह पर्यटन क्षेत्र के लिए बड़ा सदमा माना जा रहा है। बता दें कि पर्यटन मिस्र के लिए विदेशी मुद्रा राजस्व का एक महत्वपूर्ण स्रोत है।
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