पेचिंग. ताइवान को लेकर चीनी मीडिया ने एक बार फिर अमरीका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को वॉर्न किया है। चीन के कई अखबारों ने अपने सम्पादकीय में लिखा कि, अगर जरूरत पडी तो वे ताइवान के सवाल पर अमरीका के साथ युद्ध से भी पीछे नहीं हटेंगे। ट्रंप ने अभी राष्ट्रपति की शपथ नहीं ली है। लेकिन उससे पहले ही चीन के बयानों का सिलसिला शुरू हो चुका है। सोमवार को कुछ चीनी अखबारों ने संपादकीय में ट्रंप को सीधे-सीधे चुनौती दी है। बता दें कि चीनी मीडिया पर सरकार का पूरी तरह नियंत्रण है।
चीनी मीडिया ने ट्रंप को बताया नौसिखिया
चीन और अमरीका रिश्तों को लेकर एक अखबार ने अपने सम्पादकीय में ट्रंप को ‘रुकी’ यानी नौसीखिया तक करार दे दिया। जबकि एक अखबार ने लिखा, “अगर अमेरिका की आने वाली सरकार (ट्रंप की) वन-चाइना पॉलिसी को तुरुप के पत्ते की तरह इस्तेमाल करती है, तो पेचिंग के पास सभ्य और शांत उपायों को छोड़कर किसी भी तरह (यानी युद्ध) से इस विवाद को खत्म करने के अलावा और कोई रास्ता नहीं बचेगा।’ अखबार ने यह भी लिखा कि अमरीका और चीन के बीच तनाव और युद्ध की स्थिति महंगी साबित होगी, बावजूद इसके चीन पीछे नहीं हटेगा।
ग्लोबल टाइम्स ने लिखा ट्रंप के ऊपर आती है हंसी
ग्लोबल टाइम्स ने लिखा, “पहले भी ट्रंप ने हमें नाराज किया है, पर अब उनके ऊपर हंसी आती है।” इसी लेख में आगे कहा, “उनके (ट्रंप) राजनीतिक जीवन बेहतर हुआ है, लेकिन वे बोलते किसी नौसीखिये की तरह हैं।’ ग्लोबल टाइम्स ने यह भी लिखा, “अगले अमरीकी राष्ट्रपति को ताइवान के खेल की संवेदनशीलता और इसके गंभीर नतीजों के बारे में सोचना चाहिए।”
क्या है वन चाइना पॉलिसी
चीन अपनी “वन चाइना पॉलिसी” के तहत ताइवान को अभिन्न हिस्सा मानता है। 40 साल पहले अमरीका और चीन में कूटनीतिक रिश्ते दोबारा बहाल हुए थे। इसमें ‘वन चाइना पॉलिसी’ अहम है। ट्रंप अपने कैम्पेन से ही चीन पर तीखा हमला करते आए हैं। ‘वन चाइना’ नीति पर भी उन्होंने कहा कि वे इसकी समीक्षा करेंगे। हाल में वॉल स्ट्रीट जनरल से बातचीत में उन्होंने ‘वन चाइना’ नीति को विमर्श का मुद्दा करार दिया था। इधर, साउथ चाइना सी में अमरीकी ड्रोन छीनने को लेकर भी ट्रंप ने चीन पर गंभीर आरोप लगाए थे।
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